Mobile Addiction: आजकल के डिजिटल समय में मोबाइल की लत बड़ों को ही नहीं बल्कि बच्चों को भी लग गई है. मोबाइल की इस लत के कारण बच्चों के स्वास्थ्य पर तो असर पड़ता ही है, साथ ही इसके कई और भी नकारात्मक प्रभाव सेहत पर पड़ते हैं. जरूरत से ज्यादा ऑनलाइन रहने से बड़ों तक को डिप्रेशन, एंजाइटी और सेल्फ डाउट्स जैसी समस्याओं का खतरा रहता है और यहां तो फिर भी बच्चों का जिक्र किया जा रहा है. बच्चे ऑनलाइन साइबर क्राइम तक का शिकार हो सकते हैं. ऐसे में माता-पिता को बच्चों की इस लत (Phone Addcition) को दूर करना बेहद जरूरी होता है. यहां ऐसे ही कुछ टिप्स दिए जा रहे हैं जो बच्चों के मोबाइल एडिक्शन को दूर करने में सहायक साबित होंगे.
बच्चों की मोबाइल की लत छुड़ाने के तरीके | How To Break Children's Mobile Addiction
स्क्रीन टाइम लिमिट करनाबच्चे कितनी देर मोबाइल चला सकते हैं इसका लिमिट टाइम सेट करना बेहद जरूरी है. बच्चे अगर 2 से 5 साल तक के हों तो उनका स्क्रीन टाइम एक घंटे तक का ही होना चाहिए. 6 साल से बड़े बच्चों के लिए स्क्रीन टाइम माता-पिता (Parents) अपने हिसाब से सेट कर सकते हैं.
बच्चों को जितना हो सके फिजिकल एक्टिविटीज जैसे स्विमिंग, पार्क में खेलना और दोस्तों के साथ घूमने-फिरने के लिए प्रोत्साहित करें. बच्चों का जितना ज्यादा ध्यान खेलने में लगेगा उतना ही कम ध्यान मोबाइल में जाएगा.
अपने बच्चों को मोबाइल फोन से दूर रखने के लिए आपको खुद अच्छा उदाहरण बनना पड़ेगा. जब आप खाना खाते हैं या बच्चों के आस-पास बैठते हैं तो कोशिश करें कि आप फोन (Mobile Phone) ना इस्तेमाल करते रहें. आप खुद फोन में लगे रहेंगे तो बच्चे भी यही करेंगे.
बच्चे फोन का इस्तेमाल ज्यादातर अपने मनोरंजन के लिए ही करते हैं. अगर आप बच्चे को मनोरंजन के लिए मोबाइल देंगे तो हर समय वह टाइमपास के लिए फोन में ही लगा रहेगा. ऐसे में टीवी, किताबें पढ़ना और स्पीकर पर गाने सुनने को एंटरटेनमेंट के लिए रखें बजाय मोबाइल फोन के.
बच्चों को पढ़ाई करने के लिए मोबाइल देने से बेहतर आप उन्हें कंप्यूटर (Computer) या लैपटॉप दे सकते हैं. कंप्यूटर या लैपटॉप में सिक्योरिटी और एंटी-वायरस डाल सकते हैं और माता-पिता बेहतर तरह से मॉनिटरिंग भी कर सकते हैं कि बच्चे क्या देख रहे हैं और क्या नहीं. इससे मोबाइल की लत भी हटेगी.
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.