Jharkhand : जज उत्‍तम आनंद के मौत मामले का संबंध कहीं बीजेपी नेता रंजय सिंह हत्‍या केस से तो नहीं, यूं जुड़ रही कड़ी...

ज्यादातर लोग मौत के इस मामले को हत्या की साजिश बता रहे हैं. इस घटना को बीजेपी नेता रंजय सिंह की हत्या और उस केस की सुनवाई से जोड़कर देखा जा रहा है.

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जज को टक्‍कर मारने वाले ऑटो की दो दिन पहले चोरी हो गई थी, इसकी जांच करते हुए अधिकारी

Dhanbad Judge Murder Case: एडिशनल डिस्ट्रिक्ट जज उत्तम आनंद (ADJ Uttam Anand) के मौत मामले को लेकर कई तरह की खबरें आ रही है. ज्यादातर लोग मौत के इस मामले को हत्या की साजिश बता रहे हैं. इस घटना को बीजेपी नेता रंजय सिंह की हत्या और उस केस की सुनवाई से जोड़कर देखा जा रहा है. रंजय झारखंड (Jharkhand) के धनबाद शहर के बाहुबली परिवार सिंह मेंशन के करीबी थे, जिनकी हत्या जनवरी 2017 में गोली मारकर कर दी गई थी. रंजय सिंह झरिया के पूर्व विधायक संजीव सिंह के करीबी थे. जिनकी हत्या के दो महीने बाद ही मार्च 2017 में धनबाद के पूर्व डिप्टी मेयर नीरज सिंह की भी हत्या कर दी गई थी. ऐसे में जज उत्तम आनंद की मौत राजनीतिक प्रतिस्‍पर्धा का कारण भी हो सकता है.

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रंजय की हत्या मामले में जज उत्तम आनंद सुनवाई कर रहे थे और बीते दिनों सुनवाई के दौरान उन्होंने आरोपी अमन सिंह की जमानत याचिका खारिज कर दी थी. गौरतलब है कि अमन सिंह (Gangster Aman Singh) पर रंजय सिंह की हत्या का आरोप है. अमन इस वक्त झारखंड बिहार में अपहरण और फिरौती का पर्याय बन चुका है. अमन की जमानत याचिका खारिज होने के चंद दिनों बाद हुई इस घटना से शक की सुई अमन सिंह एंड गैंग की ओर मुड़ गया है.मामले की छानबीन के लिए धनबाद एसएसपी ने स्पेशल टास्क फोर्स का गठन किया है. इस स्पेशल टीम ने झारखंड के गिरिडीह से घटना में प्रयुक्त ऑटो को बरामद कर लिया है जबकि ऑटो में सवार दो लोगों की गिरफ्तारी की भी खबर है, लेकिन गिरफ्तारी को आधिकारिक पुष्टि नहीं हो सकी है. 

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गौरतलब है कि घटना को अंजाम देने वाले ऑटो की दो दिन पहले चोरी हो गई थी. जिससे संबंधित मामला भी थाने में दर्ज कराया गया है. ऑटो पाथरडीह के सगुनी देवी नामक महिला के नाम पर है. महिला के पति रामदेव लोहार ने बताया कि दो दिन पहले देर रात उनका ऑटो चोरी हो गया था. जिसकी शिकायत पाथरडीह ओपी में की थी. घटना होने के बाद थाना से बुलाकर पूछताछ की गई थी. ऑटो बरामद होने के बाद फोरेंसिक टीम ऑटो की जांच करने धनबाद थाना पहुंची. जहां ऑटो में फिंगर प्रिंट सहित अन्य चीजों की बारीकी से जांच की जा रही है. बरामद ऑटो का नंबर प्लेट घिसा हुआ पाया गया. है यानी अपराधियों ने ऑटो से नंबर मिटाकर घटना को अंजाम देने की साजिश रची. इस मामले पर झारखंड हाईकोर्ट ने संज्ञान लेते हुए धनबाद एसएसपी को कोर्ट में हाजिर होने का आदेश दिया है. फिलहाल धनबाद एसएसपी संजीव कुमार वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हाईकोर्ट के समझ पेश होकर पूरे मामले पर अपना जानकारी न्यायालय को दे रहे हैं.

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