एक वृद्ध व्यक्ति द्वारा बीमार पत्नी को ठेले पर अस्पताल ले जाने की फोटो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही है. बलिया के चिलकहर ब्लॉक में रहने वाले शुकुल प्रजापति ने अपनी बीमार पत्नी को ठेले पर अस्पताल पहुंचाया. करीब चार किलोमीटर ठेला चलाने के बाद जब शुकुल प्रजापति Community Health Center पहुंचे तो उनकी पत्नी को बलिया रेफ़र कर दिया गया. फिर शुकुल ने किसी तरह टेंपू से अपनी पत्नी को बलिया के ज़िला अस्पताल पहुंचाया. मगर तब तक बहुत देर हो चुकी थी. शुकुल की पत्नी की इलाज के दौरान मौत हो गई थी. ये घटना 28 मार्च की बताई जा रही है.
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शुकुल प्रजापति बेहद ग़रीब हैं, उनके पास पक्का घर तक नहीं है और न ही इतने पैसे कि पत्नी का प्राइवेट अस्पताल में इलाज करवा पाते. शुकुल का कहना है कि CHC पहुंचने के बावजूद उन्हें एंबुलेंस नहीं मिली. वायरल हो रही तस्वीर के बाद स्वास्थ्य मंत्री ब्रिजेश पाठक ने इस पूरे मामले के जांच के आदेश दिए हैं. अधिकारियों ने मंगलवार को ये जानकारी दी. मुख्य चिकित्सा अधिकारी नीरज पांडे ने मंगलवार को बताया कि उप मुख्यमंत्री पाठक ने महानिदेशक (चिकित्सा एवं स्वास्थ्य) को मामले की जांच के आदेश दिए हैं.
इस मामले पर अंदौर गांव के रहने वाले शुकुल का बयान भी आया है. उन्होंने कहा कि 28 मार्च को पत्नी को अस्पताल ले जाने का कोई साधन नहीं मिला, तो वे उसे ठेले पर लेकर चिलकहर स्वास्थ्य केंद्र चले गए. चिकित्सकों ने कुछ दवाएं देकर पत्नी को जिला अस्पताल रेफर कर दिया. जिसके बाद वे अपनी पत्नी को पियारिया गांव में ठेले पर ही छोड़कर कपड़े और पैसे लेने घर गए. फिर पत्नी को टेंपो से लेकर अस्पताल पहुंचे. लेकिन उनकी पत्नी की जान नहीं बच सकी.
पुलिस ने बताया कि अस्पताल में इलाज के दौरान पत्नी की मौत हो गई. शुकुल ने दावा किया कि उसकी पत्नी की मौत रात करीब 11 बजे हुई, और अस्पताल ने शव घर ले जाने के लिए एम्बुलेंस मुहैया नहीं कराई. जिसके बाद उन्होंने 1100 रुपये में निजी एम्बुलेंस की. (भाषा इनपुट के साथ)
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