दिल्ली डिक्लेरेशन में यूक्रेन : US सहित पश्चिमी देशों और रूस के बीच भारत का बहुत संतुलित रुख

भारत ने किसी भी देश की क्षेत्रीय अखंडता को खत्म करने के लिए ताकत का प्रयोग गैरवाजिब बताया, जी20 फोरम को जियो पॉलिटिकल मसलों से दूर रखने के रूस के पक्ष का किया समर्थन

Advertisement
Read Time: 23 mins
नई दिल्ली:

जी20 में दिल्ली घोषणा पत्र पर आम सहमति बनना भारत के लिए बहुत बड़ी उपलब्धि की बात है. यह उपलब्धि काफी मशक्कत के बाद मिली है. इसके लिए मैराथन बैठकों का दौर चला, विचार विमर्श हुआ. कई तरह की राय आईं. इसके बाद एक डिक्लेरेशन का ड्राफ्ट बना. फिर उसे राष्ट्र अध्यक्षों के सामने पेश किया गया. इस पर आम सहमति बन गई.

यूक्रेन युद्ध के मद्देनजर इसमें सात पैरा हैं और उनमें तमाम ऐसी बात लिखी गई हैं जो युद्ध के खामियाजे के तौर पर निकलकर सामने आई हैं. यूक्रेन को लेकर पहले पैरा में यूएन चार्टर का हवाला देकर साफ लिखा गया है, किसी भी देश की क्षेत्रीय अखंडता को खंडित करने के लिए ताकत का प्रयोग गैरवाजिब है. जाहिर सी बात है कि यह जो पैरा है, यूक्रेन के पक्ष में है. चूंकि यूक्रेन के पक्ष में पैरा है तो पश्चिमी देशों के पक्ष में है और अमेरिका के पक्ष में है. इस तरह अमेरिका और पश्चिमी देशों को साधा गया.

Advertisement

भारत ने घोषणा पत्र मे रूस के पक्ष को भी साधा

आगे के पैरा में लिखा है कि जी20 का फोरम अंतरराष्ट्रीय आर्थिक सहयोग का फोरम है, न कि जियो पॉलिटिकल मसलों का. यह बात कहकर रूस के पक्ष को साधा गया क्योंकि रूस कहता रहा है कि जी20 को जियो पॉलिटिकल मसलों से दूर रखना चाहिए क्योंकि यह आर्थिक मंच है.

Advertisement

यूक्रेन युद्ध से किस तरह खाद्यान्न संकट पैदा हो रहा है, किस तरह अफ्रीकी देशों को, जहां यूएन जैसे संगठन के जरिए अनाज पहुंचता है, दिक्कत हो रही है. इसकी बात कही गई है. यह भी जिक्र किया गया है कि काला सागर अनाज समझौता किस तरह हुआ. इसमें तुर्की और यूएन की तारीफ भी की गई है. समझौता टूटने पर अपील भी की गई है कि इसे फिर से लागू किया जाए. 

Advertisement

दिल्ली घोषणा पत्र एक अहम बुनियाद बना

तमाम बातों के जरिए यह जताने की कोशिश की गई है कि भारत एक संतुलित पक्ष लेकर चल रहा है और इसी संतुलन के साथ इसमें भाषा को साधा गया है, यह अपने आप में एक अहम बुनियाद बना. जिसकी वजह से इस पर आम सहमति बनी है. यह भी कहा गया है कि सहमति बनाने में चीन जैसे देशों का अहम सहयोग रहा. 

Advertisement

इसमें सैन्य ताकत के इस्तेमाल को गलत बताया गया है. ऐसी तमाम बातें इसमें हैं जो आज की दुनिया को चाहिए.

Featured Video Of The Day
Adani University का पहला दीक्षांत समारोह, 69 Post Graduate को दी गई Degree
Topics mentioned in this article