TMC ने निर्वाचन क्षेत्रवार मतदान प्रतिशत ‘‘तत्काल मुहैया कराने’’ की चुनाव आयोग से की मांग

तृणमूल कांग्रेस ने सीईसी को संबोधित एक पत्र में कहा कि निर्वाचन आयोग ने पहले दो चरणों के लिए मतदान प्रतिशत 'देर से' 30 अप्रैल को जारी किया, लेकिन रिपोर्ट में पात्र मतदाताओं की कुल संख्या और पड़े मतों की वास्तविक संख्या के बारे में कोई जानकारी नहीं थी.

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नई दिल्ली:

तृणमूल कांग्रेस ने मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार से लोकसभा चुनाव के पहले दो चरणों के लिए निर्वाचन क्षेत्र-वार मतदान प्रतिशत की जानकारी 'तत्काल' देने का सोमवार को आग्रह किया और आंकड़े जारी करने में ‘‘देरी' पर स्पष्टीकरण भी मांगा. मतदान प्रतिशत आंकड़ा साझा करने में निर्वाचन आयोग द्वारा देरी किये जाने के विपक्ष के आरोपों के बीच, निर्वाचन आयोग ने पिछले शुक्रवार को कहा था कि 'पड़े मतों की वास्तविक संख्या' का बूथ-वार डेटा मतदान समाप्त होने के तुरंत बाद उम्मीदवारों के पास उपलब्ध है.

तृणमूल कांग्रेस ने सीईसी को संबोधित एक पत्र में कहा कि निर्वाचन आयोग ने पहले दो चरणों के लिए मतदान प्रतिशत 'देर से' 30 अप्रैल को जारी किया, लेकिन रिपोर्ट में पात्र मतदाताओं की कुल संख्या और पड़े मतों की वास्तविक संख्या के बारे में कोई जानकारी नहीं थी.

टीएमसी ने कहा, ‘‘यह पिछले चुनावों की पिछली मतदान रिपोर्ट से एक बदलाव है, जब ईसीआई ने इस संबंध में एक विस्तृत रिपोर्ट प्रदान की थी.'' पार्टी ने दावा किया कि रिपोर्ट शुरू में दिए गए प्रतिशत में उल्लेखनीय विसंगतियां भी दर्शाती है.

टीएमसी ने कहा कि पहले चरण के लिए, मतदान प्रतिशत 19 अप्रैल को 60 दिखाया गया था. बाद में 30 अप्रैल को संयुक्त मतदान प्रतिशत रिपोर्ट में चरण एक में पड़े मतों का प्रतिशत 66.14 प्रतिशत उल्लेखित किया गया.

पार्टी ने कहा कि पहले चरण का अंतिम मतदान प्रतिशत जारी करने में 11 दिन की देरी और दूसरे चरण के समापन के लगभग चार दिन बाद बिना किसी उचित स्पष्टीकरण के चरण एक की मतदाता भागीदारी में 5.75 प्रतिशत की उल्लेखनीय वृद्धि गंभीर चिंता का विषय है और यह मतदाताओं के मन में संदेह उत्पन्न करता है.''

उसने कहा कि चुनाव संचालन नियम, 1961 के नियम 49एस के तहत, पीठासीन अधिकारी फॉर्म 17सी में दर्ज मतों का लेखा-जोखा तैयार करेगा और इसे प्रत्येक मतदान एजेंट को प्रस्तुत करेगा जिसमें मतदाताओं की वास्तविक संख्या, मतदान करने वाले लोगों की संख्या और ईवीएम में दर्ज मतों की कुल संख्या शामिल होगी.

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टीएमसी ने मुख्य निर्वाचन आयुक्त को लिखे पत्र में कुछ मतदान केंद्रों का उल्लेख किया है, जहां पीठासीन अधिकारी ने वोट डालने आए मतदाताओं की संख्या 'मतदाता रजिस्टर' के अनुसार बताने के प्रावधान को 'छोड़ दिया'.

टीएमसी ने कहा कि फॉर्म 17सी में 'विसंगतियां' ईसीआई द्वारा यह चुनाव कराने में 'बड़े पैमाने पर उपेक्षा और लापरवाही वाले रवैये का संकेत है. यह अन्य बूथ में भी इसी तरह की घटनाओं की संभावना का संकेत देता है, जो ईसीआई द्वारा रिपोर्ट और प्रकाशित किए गए मतदान प्रतिशत की सटीकता के बारे में गंभीर चिंताएं पैदा करता है. ऐसी विसंगतियों को दूर करने में ईसीआई की विफलता चुनावी प्रक्रिया में जनता के विश्वास को कमजोर करेगी.''

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टीएमसी ने मांग की कि ईसीआई पहले और दूसरे चरण के मतदान के लिए प्रत्येक सीट पर पंजीकृत मतदाताओं की कुल संख्या, भौतिक रूप से उपस्थित मतदाताओं की कुल संख्या 'मतदाता रजिस्टर' के अनुसार और सभी निर्वाचन क्षेत्रों के लिए मतदाताओं की संख्या ईवीएम के अनुसार प्रकाशित करे.

उसने कहा, ‘‘लोकसभा, 2024 के चरण एक और दो के लिए संसदीय निर्वाचन क्षेत्र-वार सटीक मतदान प्रतिशत तत्काल प्रस्तुत करें, साथ ही 30.04.2024 की तिथि वाली मतदान प्रतिशत रिपोर्ट उक्त चरण के लिए मतदान प्रतिशत की कुल संख्या (आंकड़ों में) और पात्र मतदाताओं की कुल संख्या का विवरण प्रकट किये बिना जारी करने में देरी के लिए भी स्पष्टीकरण दें.'' पार्टी ने यह भी मांग की कि आगामी प्रत्येक चरण में मतदान पूरा होने के बाद एक विस्तृत रिपोर्ट प्रकाशित की जानी चाहिए.

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टीएमसी ने कहा, 'चुनावी प्रक्रिया में पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए मतदान प्रतिशत का सटीक संख्यात्मक डेटा का प्रकाशन आवश्यक है और यह एकमात्र माध्यम है जिसके माध्यम से आम नागरिक ऐसी जानकारी प्राप्त कर सकते हैं. इस तरह के प्रकाशन से आधिकारिक रिकॉर्ड में किसी भी प्रकार के हेरफेर की संभावना भी समाप्त होगी और पूरी मतदान प्रक्रिया में जनता का विश्वास बना रहेगा.''

निर्वाचन आयोग ने मतदान का आंकड़ा आधिकारिक तौर पर 30 अप्रैल को साझा किया. इसके अनुसार, मौजूदा लोकसभा चुनाव के पहले चरण में 66.14 प्रतिशत और दूसरे चरण में 66.71 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया.

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कांग्रेस, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) और तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) ने 19 अप्रैल को पहले दौर के मतदान के 11 दिन बाद लोकसभा चुनाव के पहले दो चरणों के लिए अंतिम मतदान आंकड़े की घोषणा को लेकर निर्वाचन आयोग से सवाल किया था. विपक्षी दल मतदाताओं की पूर्ण संख्या सार्वजनिक करने की भी मांग कर रहे हैं.

लोकसभा चुनाव के लिए सात चरणों में मतदान हो रहा है. बाकी पांच चरण 7 मई, 13 मई, 20 मई, 25 मई और एक जून को होंगे. मतों की गिनती 4 जून को होगी.

(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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