भारतीय जनता पार्टी (BJP) के वरिष्ठ नेता और बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी का निधन हो गया. 72 साल के सुशील मोदी पिछले छह महीनों से कैंसर की गंभीर बीमारी से जूझ रहे थे. उनका दिल्ली के एम्स में इलाज चल रहा था. उन्हें बीजेपी ने राज्य के लिए अपने स्टार प्रचारकों में भी शामिल किया था. साथ ही अपनी चुनाव घोषणापत्र समिति का सदस्य भी नामित किया था.
सुशील कुमार मोदी का राजनीतिक सफर
सुशील मोदी का राजनीतिक सफर पटना विश्वविद्यालय में एक छात्र कार्यकर्ता के रूप में शुरू हुआ था. वो 1973 में पटना विश्वविद्यालय छात्र संघ के महासचिव बने थे. 1990 में वो सक्रिय राजनीति में आए, सुशील मोदी पहली बार पटना मध्य निर्वाचन क्षेत्र से विधायक बने और उन्हें भाजपा विधायक दल का मुख्य सचेतक बनाया गया. इसे अब कुम्हार विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के रूप में जाना जाता है.
उन्होंने 2005 में अपनी लोकसभा सदस्यता छोड़ दी और बिहार विधान परिषद के सदस्य बन गए, जिसके बाद उन्हें उपमुख्यमंत्री बनाया गया और नीतीश कुमार मुख्यमंत्री बने. वो 2020 में राज्यसभा के लिए चुने गए और इस साल की शुरुआत में सेवानिवृत्त हुए.
लोकसभा, राज्यसभा, विधानसभा और विधान परिषद चारों सदन के सदस्य रहे मोदी
अपने तीन दशकों से अधिक के राजनीतिक करियर के दौरान सुशील कुमार मोदी ने विधायक, एमएलसी, लोकसभा और राज्यसभा के सदस्य सहित विभिन्न पदों पर कार्य किया. वो लोकसभा, राज्यसभा, विधानसभा और विधान परिषद सहित सभी 4 सदनों के सदस्य रहने वाले बिहार के चंद नेताओं में से एक थे. उन्होंने 2005 से 2013 तक और फिर 2017 से 2020 तक बिहार के उपमुख्यमंत्री का पद भी संभाला.
खुद ही कैंसर होने की दी थी जानकारी
सुशील मोदी ने कुछ दिन पहले ही ‘एक्स' पर पोस्ट कर इसकी जानकारी दी थी. उन्होंने लिखा था, ‘‘पिछले छह माह से कैंसर से संघर्ष कर रहा हूं. अब लगा कि लोगों को बताने का समय आ गया है. लोकसभा चुनाव में कुछ कर नहीं पाऊंगा. प्रधानमंत्री को सब कुछ बता दिया है. देश, बिहार और पार्टी का सदा आभार और सदैव समर्पित.''
सुशील कुमार मोदी के परिवार में उनकी पत्नी प्रोफेसर जेसी जॉर्ज और दो बेटे उत्कर्ष तथागत और अक्षय अमृतांशु हैं.