राहुल गांधी को मिली ज़मानत, गुजरात की अदालत ने सज़ा पर फिलहाल लगाई रोक

राहुल गांधी को ‘मोदी उपनाम’ के संदर्भ में उनकी 2019 की टिप्पणी के लिए निचली अदालत ने दो साल की जेल की सजा सुनाई थी.

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52 वर्षीय राहुल गांधी को 2019 के मामले में मानहानि का दोषी पाया गया था

नई दिल्‍ली:

कांग्रेस नेता राहुल गांधी को गुजरात में सूरत की सत्र अदालत ने मानहानि के मामले में सोमवार को जमानत दे दी. राहुल गांधी को ‘मोदी उपनाम' के संदर्भ में उनकी 2019 की टिप्पणी के लिए निचली अदालत ने दो साल की जेल की सजा सुनाई थी.

अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश आर पी मोगेरा की अदालत ने कहा कि वह मामले में शिकायतकर्ता-भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक और गुजरात के पूर्व मंत्री पूर्णेश मोदी को नोटिस जारी करने के बाद 13 अप्रैल को दोषसिद्धि के निलंबन के लिए गांधी की याचिका पर सुनवाई करेगी. सत्र अदालत ने प्रतिवादी (पूर्णेश मोदी) को 10 अप्रैल तक अपना जवाब दाखिल करने को कहा.

कोर्ट ने राहुल गांधी को जमानत दे दी है और सजा पर फिलहाल रोक लगा दी है.

अदालत उनकी दोषसिद्धि पर रोक के संबंध में 13 अप्रैल को सुनवाई करेगी. इसके साथ ही कांग्रेस नेता ने अपनी सजा को भी चुनौती दी है, जिस पर 3 मई को सुनवाई होगी. बता दें कि इस मामले में सजा सुनाए जाने के 11 दिन बाद राहुल गांधी ने सेशंस कोर्ट में याचिका दाखिल की है.

राहुल गांधी, जिन्हें हाल ही में गुजरात की अदालत के आदेश के बाद सांसद के रूप में अयोग्य घोषित किया गया था, उनकी बहन प्रियंका गांधी वाड्रा और तीन कांग्रेस शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों- अशोक गहलोत, भूपेश बघेल और सुखविंदर सिंह सुक्खू के साथ सूरत पहुंचे थे. अदालत में पेशी से पहले राहुल गांधी ने अपनी मां सोनिया गांधी से भी मुलाकात की थी.

केंद्रीय विधि मंत्री किरेन रीजीजू ने सोमवार को दावा किया कि कांग्रेस न्यायपालिका पर ‘अनुचित दबाव' बनाने की कोशिश कर रही है. उन्होंने कांग्रेस नेता राहुल गांधी के सूरत की एक अदालत में उपस्थित होने के लिए जाते समय उनके साथ पार्टी के नेताओं के जाने की योजना पर सवाल खड़ा किया. राहुल के वकीलों ने कहा कि सत्र अदालत सोमवार को ही मामले को सुनवाई के लिए ले सकती है.

रीजीजू ने कहा, "मेरा सीधा सवाल है कि कांग्रेस न्यायपालिका पर इस तरह का अनुचित दबाव बनाने की कोशिश क्यों कर रही है. न्यायिक मामलों से निपटने के तरीके होते हैं, लेकिन क्या यह तरीका है?"

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उन्होंने सवाल किया कि क्या पहले ऐसा कोई मामला देखने में आया है जब कोई पार्टी अदालत का ‘घेराव' करने की कोशिश कर रही है.

वहीं, केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि कांग्रेस को पता था कि कोर्ट द्वारा सजा दिए जाने के बाद राहुल गांधी की सदस्यता जाएगी. इससे पहले भी 13 और नेताओं की सदस्यता इसी तरह जा चुकी है. लेकिन इसके बावजूद कांग्रेस ने फिर भी ड्रामा रचा.

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केरल में राहुल गांधी की वायनाड सीट उनके पद से हटाए जाने के बाद अब खाली हो गई है. चुनाव आयोग अब इस सीट के लिए विशेष चुनाव की घोषणा कर सकता है.   
 

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