लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने गृह मंत्री अमित शाह को चिट्ठी लिखी है. उन्होंने पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता में 'एक राष्ट्र-एक चुनाव' के लिए बनी हाई पावर कमेटी का सदस्य बनने से इनकार किया है. यह कमेटी लोकसभा और विधानसभा के चुनाव एक साथ कराने की व्यवहार्यता की जांच करने के लिए बनी है.
अधीर रंजन चौधरी के मुताबिक यह कमेटी संवैधानिक रूप से सही नहीं है. साथ ही यह व्यवहारिक और तार्किक रूप से भी उचित नहीं है. यह कमेटी भी तब बनाई गई है जब आम चुनाव नजदीक आ रहे हैं.
उन्होंने कहा है कि राज्यसभा में विपक्ष के नेता को इस कमेटी में ना रखना लोकतांत्रिक व्यवस्था का अपमान है. इस हालत में मेरा पास इसके अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं है कि कमेटी का सदस्य बनने का निमंत्रण अस्वीकार करूं.
'एक देश-एक चुनाव' के लिए समिति के गठन की अधिसूचना जारी
गौरतलब है कि 'एक देश-एक चुनाव' की समिति के गठन की अधिसूचना शनिवार को जारी कर दी गई है. आठ सदस्यीय समिति बनाई गई है. इसकी अधिसूचना विधि एवं न्याय मंत्रालय ने जारी की है. पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद इस समिति के अध्यक्ष होंगे. गृह मंत्री अमित शाह, लोक सभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी समिति में सदस्य होंगे. इसके अलावा 'एक देश एक चुनाव' की समिति में गुलाम नबी आजाद, एनके सिंह, सुभाष सी कश्यप, हरीश साल्वे और संजय कोठारी को सदस्य बनाया गया है.
सरकार ने “एक राष्ट्र, एक चुनाव” की संभावना तलाशने के लिए पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता में समिति का गठन किया है. इससे लोकसभा चुनाव तय समय से पहले कराने की संभावनाओं के द्वार खुल गए हैं. इसे हरी झंडी मिलने पर कई राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों के साथ ही लोकसभा चुनाव कराए जा सकते हैं.