- पुरी में भगवान जगन्नाथ की भव्य रथ यात्रा आज निकाली जाएगी.
- सुरक्षा व्यवस्था के लिए प्रशासन ने सभी इंतजाम किए हैं.
- लाखों श्रद्धालुओं के शामिल होने की संभावना है.
- रथ खींचने की प्रक्रिया शाम 4 बजे शुरू होगी.
ओडिशा के पुरी में शुक्रवार को भव्य रथ यात्रा उत्सव (Puri Rath Yatra) मनाया जाएगा. पुरी सजकर भगवान जगन्नाथ रथ यात्रा के लिए पूरी तरह से तैयार है. प्रशासन ने भी सुरक्षा-व्यवस्था के इंतजाम पूरे कर लिए हैं. इस बात का पूरा ध्यान रखा जा रहा है कि किसी भी श्रद्धालु को कोई परेशानी न हो. पुलिस प्रशासन पूरी तरह सतर्क है. इस साल भगवान जगन्नाथ रथ उत्सव में लाखों श्रद्धालुओं के शामिल होने की संभावना है.सभी अनुष्ठान पूरे होने के बाद शाम 4 बजे भगवान बलभद्र, देवी सुभद्रा और भगवान जगन्नाथ के रथों को खींचने की प्रक्रिया शुरू होगी. इस कार्यक्रम में देश-विदेश से लाखों श्रद्धालुओं के शामिल होने की उम्मीद है. गुरुवार शाम से ही श्रद्धालुओं का पुरी पहुंचना शुरू हो चुका है.
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शुक्रवार शाम 4 बजे भगवान बलभद्र, देवी सुभद्रा और भगवान जगन्नाथ के रथों को खींचने की प्रक्रिया शुरू होगी. लाखों भक्त इस उत्सव के लिए देश-विदेश से पुरी पहुंच चुके हैं.
भगवान जगन्नाथ अपने भाई बालभद्र और बहन सुभद्रा के साथ रथ पर विराजेंगे और भक्तों को दर्शन देंगे. ऐसी मान्यता है इस रथ यात्रा में शामिल होने से मोक्ष की प्राप्ति होती है.
शुक्रवार सुबह 6 बजे मंगल आरती की गई. सुबह 9 बजकर 30 मिनट पर 'पहाड़ी' रस्म निभाई जाएगी. फिर 'छेरा पहरा' की रस्म दोपहर 2 बजकर 30 मिनट से 3 बजकर 30 मिनट तक की जाएगी. इसके बाद शाम 4 बजे रथ यात्रा गुंडीचा मंदिर के लिए निकल जाएगी.
ओडिशा के डीजीपी वाईबी खुरानिया ने बताया कि विश्व प्रसिद्ध रथ यात्रा को ध्यान में रखते हुए पुलिस ने व्यापक सुरक्षा और प्रबंधन व्यवस्था की है. पहली बार AI-सक्षम सीसीटीवी कैमरे भुवनेश्वर से लेकर पूरी शहर और पूरी से कोणार्क तक लगाए गए हैं.
इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर की भी स्थापना की गई है, जहां विभिन्न एजेंसियों के वरिष्ठ अधिकारी 24x7 निगरानी में मौजूद रहेंगे. अगर कहीं कोई असुविधा या समस्या उत्पन्न होती है, तो उसका तुरंत समाधान वहीं पर किया जाएगा.
रथ यात्रा में पहली बार NSG की तैनाती की जा रही है. क्विक एक्शन टीम और स्नाइपर्स भी मौके पर मौजूद रहेंगे. साइबर सुरक्षा को मजबूत करने के लिए विभिन्न एजेंसियों की एंटी-साइबर थ्रेट टीमें बढ़ाई गई हैं. RAF, CRPF, BSF और संभावित आपदाओं से निपटने के लिए NDRF की टीमें भी तैनात रहेंगी.
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