बंगाल की खाड़ी में हवा के कम दबाव का क्षेत्र बनने से ओडिशा में बुधवार को भारी बारिश हुई, जिसके बाद कई निचले इलाकों में पानी भर गया. अधिकारियों ने बताया कि प्रशासन बुरी तरह से प्रभावित इलाकों में हरकत में आ गया और 12 से ज्यादा जिलों में शिक्षण संस्थानों को अस्थायी रूप से बंद करने की घोषणा की. विशेष राहत आयुक्त (एसआरसी) ने राज्य की मौजूदा स्थिति पर समीक्षा बैठक की और जिलाधिकारियों से प्रभावित लोगों को राहत प्रदान करने को कहा.
अंगुल, बालासोर, बरगढ़, बौध, भद्रक, बोलांगीर, ढेंकनाल, गजपति, जाजपुर, झारसुगुड़ा, कंधमाल, क्योंझर, कालाहांडी, मयूरभंज, नुआपाड़ा, सुबरनापुर और संबलपुर के जिलाधिकारी ऑनलाइन माध्यम से बैठक में शामिल हुए. ओडिशा में बीते 24 घंटे में औसतन 83.8 मिलीमीटर बारिश हुई है तथा सबसे ज्यादा 390 मिमी बारिश बौध ब्लॉक में दर्ज की गई है. अधिकारियों ने बताया कि कम से कम चार ब्लॉक में 300 मिमी से ज्यादा बारिश दर्ज कई, जबकि 17 ब्लॉक में 200 मिमी, 68 में 100 से 200 मिमी के बीच बारिश हुई है.
एक अधिकारी ने बताया कि भारी बारिश के बाद अंगुल जिले में हुए भूस्खलन के बाद एक चट्टान मालगाड़ी के इंजन पर आ गिरा, जिससे वह हण्डपा और बोइंडा के बीच पटरी से उतर गई. क्योंझर जिले के अधिकारी ने बताया कि बैतरनी नदी के एक द्वीप पर फंसी एक महिला को दमकल कर्मियों ने निकाल लिया है. एसआरसी दफ्तर में एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि भारत मौसम विज्ञान विभाग का पूर्वानुमान है कि अगले दो दिन में भारी बारिश के आसार हैं जिसके मद्देनजर ओडिशा आपदा त्वारित कार्रवाई बल के दलों को क्योंझर और संबलपुर के रेढाखोल भेजा गया है.
उन्होंने कहा कि जिलाधिकारियों को सभी एहतियाती उपाय करने को कहा गया है. उन्होंने कहा कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल के दलों को भद्रक एवं जाजपुर में तैनात किया गया है. इस बीच, मौसम विभाग ने सुंदरगढ़, झारसुगुड़ा, बारगढ़, बोलनगीर, सोनपुर, संबलपुर, देवगढ़, अंगुल, क्योंझर और बौध में भारी से बहुत भारी वर्षा (सात से 20 सेंटीमीटर) होने की चेतावनी जारी की है.
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