लोकसभा चुनाव 2024: अखिलेश यादव परिवार के पास 42 करोड़ की संपत्ति, पत्नी के पास है इतने किलो सोना

समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव ने गुरुवार को कन्नौज लोकसभा सीट से पर्चा दाखिल किया. नामांकन पत्र के साथ दायर हलफनामे के मुताबिक अखिलेश परिवार के पास करीब 42 करोड़ रुपये की संपत्ति है. अखिलेश के पास 25 लाख 61 हजार से अधिक की नगदी है.

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नई दिल्ली:

समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party)के प्रमुख अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav)ने गुरुवार को कन्नौज (Kannauj Lok Sabha Seat)से पर्चा दाखिल किया.नामांकन पत्र के साथ दायर हलफनामे के मुताबिक अखिलेश परिवार के पास करीब 42 करोड़ रुपये की संपत्ति है. इसके अलावा उन पर तीन मामले दर्ज हैं. हलफनामे के मुताबिक उनके पास 25 लाख 61 हजार  से अधिक की नगदी है. वहीं उनकी पत्नी डिंपल यादव के पास पांच लाख 72 हजार से अधिक की नगदी है.

कितनी की संपत्ति के मालिक हैं अखिलेश 
इसके अलावा करीब दो करोड़ 30 लाख रुपये की एफडी भी है. वहीं डिंपल यादव के पास 76 लाख से अधिक की एफडी है. अखिलेश के बचत खातों में एक करोड़ 49 लाख से अधिक रुपये जमा है.वहीं उनकी पत्नी डिंपल यादव के छह बचत खातों में तीन करोड़ 16 लाख रुपये से अधिक रुपये जमा हैं.
इसके अलावा उनकी बेटी अदिती यादव के लखनऊ में एक्सिस बैंक के बचत खाते में 11 लाख 11 हजार रुपये से अधिक जमा हैं. उनका लंदन के लॉयड्स बैंक में भी एक खाता है, जिसमें 1595 पाउंड्स जमा हैं. 

अखिलेश यादव ने 2.13 करोड़ रुपये अपने पिता मुलायम सिंह यादव और पत्नी डिंपल यादव को 54 लाख रुपये से अधिक का कर्ज भी दे रखा है. 

उन्होंने अपनी आय का जरिया खेती और जनहित के कामकाज को बताया है. उनके पास 17 एकड़ से अधिक कृषि योग्य जमीन है. 

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पत्नी डिंपल के पास है दो किलो से अधिक सोना
अखिलेश के पास सोना-चांदी के आभूषण या कोई और सामान नहीं है.उनके पास 76 हजार रुपये से अधिक कीमत का एक मोबाइल फोन, 5.34 लाख की जिम की मशीनें और 1.60 लाख की क्रॉकरी है. लेकिन पत्नि डिंपल जेवरात की शौकीन हैं. उनके पास करीब 60 लाख रुपये के गहने हैं. उनके पास 2.774 किलो से अधिक सोने के गहने हैं.उनके पास 127.75 कैरेट का हीरा है, जिसकी कीमत 59,76,687 रुपये है. इसके अवावा उनके पास 203 ग्राम मोती भी हैं. 

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कन्नौज लोकसभा सीट की लड़ाई

कन्नौज  लोकसभा सीट से ही अखिलेश यादव 2000 में पहली बार सांसद चुने गए थे. उन्होंने 2004 और 2009 का चुनाव भी इसी सीट से जीता था. साल 2012 में उत्तर प्रदेश का मुख्यमंत्री बनने के बाद उन्होंने इस सीट से इस्तीफा दे दिया था.इसके बाद हुए उपचुनाव में उनकी पत्नी डिंपल निर्विरोध सांसद चुनी गई थीं.डिपल 2014 में मोदी लहर में भी कन्नौज सीट से चुनाव जीतने में कामयाब रहीं. लेकिन 2019 के चुनाव में उन्हें भाजपा के सुब्रत पाठक के हाथों हार का सामना करना पड़ा था.डिंपल इस साल मैनपुरी से चुनाव लड़ रही हैं. वहीं अखिलेश यादव करहल सीट से विधायक हैं. 

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कन्नौज लोकसभा सीट पर चौथे चरण में 13 मई को मतदान कराया जाएगा. इस सीट पर अखिलेश यादव का मुकाबला भाजपा के सुब्रत पाठक से है.

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