बीजेपी और उसके राष्ट्रीय अध्यक्ष...वाजपेयी से लेकर नड्डा तक, अब तक कौन-कौन संभाल चुका है यह जिम्‍मेदारी 

अब तक बीजेपी के कुल 11 व्यक्ति राष्ट्रीय अध्यक्ष के पद पर रहे हैं. कुछ ने एक से अधिक कार्यकाल संभाला है. बीजेपी में अध्यक्ष का कार्यकाल सामान्यतः 3 साल का होता है, लेकिन कई बार यह छोटा या लंबा भी रहा है.

विज्ञापन
Read Time: 4 mins
फटाफट पढ़ें
Summary is AI-generated, newsroom-reviewed
  • बीजेपी के पहले अध्यक्ष अटल बिहारी वाजपेयी ने पार्टी को राष्ट्रीय पहचान और हिंदुत्व की नींव दी थी.
  • लाल कृष्ण आडवाणी ने सबसे लंबे समय तक अध्यक्ष पद संभाला और राम जन्मभूमि आंदोलन का नेतृत्व किया.
  • अमित शाह के कार्यकाल को बीजेपी का स्वर्ण काल माना जाता है, जब पार्टी ने कई बड़े चुनाव जीतें.
क्या हमारी AI समरी आपके लिए उपयोगी रही?
हमें बताएं।
नई दिल्‍ली:

बिहार चुनाव के बाद फिर से बीजेपी के नए अध्यक्ष की चर्चा शुरू हो गई है. वर्तमान अध्यक्ष जेपी नड्डा का कार्यकाल पूरा हो चुका और वो एक्सटेंशन पर चल रहे हैं. ऐसे में बीजेपी जल्द अपने नए अध्यक्ष के नाम की घोषणा कर सकती है. बीजेपी की स्थापना 6 अप्रैल 1980 को हुई थी. तब से अब तक बीजेपी के कुल 11 व्यक्ति राष्ट्रीय अध्यक्ष के पद पर रहे हैं. कुछ ने एक से अधिक कार्यकाल संभाला है. बीजेपी में अध्यक्ष का कार्यकाल सामान्यतः 3 साल का होता है, लेकिन कई बार यह छोटा या लंबा भी रहा है. चलिए आपको बताते हैं कि बीजेपी के पहले राष्ट्रीय अध्यक्ष से लेकर अब तक कौन कौन रहा. 

1- अटल बिहारी वाजपेयी (1980-1986)

ये वो दौर था जब बीजेपी की स्थापना हुई और यह शुरुआती संगठन का दौर था. वाजपेयी ने पार्टी को राष्ट्रीय पहचान दी, राष्ट्रवाद और हिंदुत्व की नींव रखी. बाद में अटल बिहारी वाजपेयी देश के प्रधानमंत्री बने. 

2- लाल कृष्ण आडवाणी (1986-1990, 1993-1998, 2004-2005)
आडवाणी सबसे लंबे समय तक अध्यक्ष रहे. अध्यक्षता के दौरान ही उन्होंने राम जन्मभूमि आंदोलन को नेतृत्व दिया, राम रथ यात्रा (1990) के जरियर पार्टी को हिंदुत्व की मुख्य धारा में लाए. 1998 और 1999 के लोकसभा चुनावों में एनडीए की जीत में महत्वपूर्ण भूमिका. बाद में उप-प्रधानमंत्री और गृहमंत्री बने. 

3- मुरली मनोहर जोशी (1991-1993)
जोशी ने पार्टी में हिंदुत्व की विचारधारा को मजबूत किया. आडवाणी के साथ राम मंदिर आंदोलन में सक्रिय भूमिका में रहे. शिक्षा सुधारों जैसे विदेशीकरण का विरोध किया और आरएसएस से जुड़े सिद्धांतों को पार्टी में स्थापित किया। बाद में देश के मानव संसाधन विकास मंत्री बने. 

4- कुशाभाऊ ठाकरे (1998-2000)
ठाकरे ने 1998 के एनडीए गठबंधन की जीत सुनिश्चित की. ग्रामीण इलाकों में पार्टी का विस्तार और संगठनात्मक विस्तार पर फोकस. आरएसएस से लंबे वक्त तक जुड़े होने के कारण पार्टी की जड़ें मजबूत कीं. 

5- बांगारू लक्ष्मण (2000-2001)
लक्ष्मण दलित समुदाय से पार्टी के पहले अध्यक्ष बने. पार्टी को सामाजिक और बनाने का प्रयास किया. लेकिन एक स्टिंग ऑपरेशन में फंसने की वजह से उन्‍हें इस्तीफा देना पड़ा. 

Advertisement

6-  के जना कृष्णमूर्ति (2001-2002)
कृष्णमूर्ति ने संगठनात्मक सुधारों पर जोर दिया , पार्टी को मजबूती प्रदान की. दक्षिण में आंध्र प्रदेश में पार्टी मजबूत किया. 

7- वेंकैया नायडू  (2002-2004)
2004 चुनाव से पहले एनडीए को एकजुट रखा। संसदीय रणनीति को ठीक से जमीन पर उतारा. 

8- नितिन गडकरी (2010-2013)
पार्टी के सबसे युवा अध्यक्ष बने. बुनियादी ढांचा और आर्थिक नीतियों पर फोकस किया. 2014 चुनाव से पहले पार्टी को पुनर्जीवित किया. बाद में सड़क परिवहन मंत्री. 

Advertisement

9- राजनाथ सिंह (2005-2009, 2013-2014)
राजनाथ सिंह ने 2014 लोकसभा चुनाव में नरेंद्र मोदी को पीएम उम्मीदवार घोषित किया. पार्टी को युवा और डिजिटल मोड में बदला. इसके बाद वह पीएम मोदी के पहले कार्यकाल में गृहमंत्री और फिर रक्षा मंत्री बने. 

10- अमित शाह (2014-2017 2017- 2020)
अमित शाह  के कार्यकाल को बीजेपी का स्वर्ण काल कहा जाता है क्यों कि इस दौरान पार्टी राज्यस्तर से लेकर बूथ स्तर तक बेहद मजबूत हुई और पार्टी के कार्यकर्ताओं में बेतहाशा बढ़ोतरी हुई.  पार्टी का विस्तार राष्ट्रीय से लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर तक हुआ. उनके कार्यकाल के दौरान बीजेपी ने कई चुनाव जीते जिसमें यूपी का चुनाव और साल 2019 का लोकसभा चुनाव शामिल है जो पार्टी ने बड़े अंतर से जीता. वह 2014 और 2019 के ऐतिहासिक लोकसभा चुनाव जीतें. पार्टी को सबसे बड़ी राजनीतिक मशीन बनाया, राज्य स्तर पर पार्टी का विस्तार किया. बूथ स्तर पर संगठन को मजबूत किया पार्टी को केंद्रीकृत किया. बाद में गृहमंत्री बने. 

Advertisement

11- जगत प्रकाश नड्डा 2020 से वर्तमान 
जेपी नड्डा जो कि वर्तमान में राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं इनके कार्यकाल में बीजेपी ने कई ऐतिहासिक जीत दर्ज की हाल में बिहार चुनाव बड़े अंतर से , 2024 लोकसभा चुनाव , दिल्ली चुनाव , यूपी चुनाव , नड्डा ने राष्ट्रीय स्तर से लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर तक पार्टी का प्रचार किया. नड्डा ने समय-समय पर पार्टी में कई बदलाव भी किए जिससे पार्टी को मजबूत मिलती रही. उनके नेतृत्‍व में 2024 लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने चुनाव जीता और 240+ सीटें मिलीं. उन्‍होंने COVID-19 के दौरान पार्टी का प्रबंधन संभाला था. अंतरराष्‍ट्रीय स्‍तर पर पार्टी को मजबूत किया. नड्डा ने 'बीजेपी को जानो' प्रोग्राम की शुरुआत की और युवा मोबिलाइजेशन पर फोकस किया.  

यह भी पढ़ें- 'पिताजी कहते थे आगे बढ़ो, लेकिन पीछे मुड़ कर देखना भी जरूरी है', राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने दिया बड़ा संदेश

Advertisement
Featured Video Of The Day
Syed Suhail | Babri Masjid पर सियासी जंग | Bihar में चला योगी बुलडोज़र? | Bharat Ki Baat Batata Hoon
Topics mentioned in this article