बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) द्वारा आयोजित 67वीं सिविल सेवा परीक्षा के प्रश्नपत्र कथित रूप से लीक होने के मामले में बिहार पुलिस ने मंगलवार को एक प्रखंड विकास अधिकारी (बीडीओ) समेत चार लोगों को गिरफ्तार किया. राज्य पुलिस की विशेष इकाई द्वारा जारी एक बयान में कहा गया है कि ये गिरफ्तारियां बिहार पुलिस की आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) ने की हैं.
गिरफ्तार लोगों की पहचान भोजपुर जिले के बरहरा के बीडीओ जयवर्धन गुप्ता के रूप में हुई है, जिन्हें आरा के वीर कुंवर सिंह कॉलेज का प्रभारी मजिस्ट्रेट नियुक्त किया गया था, जहां रविवार को कथित तौर पर प्रश्नपत्र लीक हुआ था.
ईओयू के बयान में कहा गया है कि वीर कुंवर सिंह कॉलेज के उप केंद्र अधीक्षक योगेंद्र प्रसाद सिंह, सहायक केंद्र अधीक्षक कुमार सहाय और परीक्षा उप नियंत्रक सुशील कुमार सिंह भी गिरफ्तार किए गए लोगों में शामिल हैं. बयान के अनुसार, ‘‘उन्हें सूचना प्रौद्योगिकी कानून और बिहार परीक्षा आचरण कानून, 1981 की धाराओं के तहत गिरफ्तार किया गया है.''
एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि मामले में और गिरफ्तारियां होने की संभावना है. रविवार दोपहर को 67वीं संयुक्त (प्रारंभिक) प्रतियोगी परीक्षा शुरू होने से कुछ मिनट पहले प्रश्न पत्रों के एक सेट के स्क्रीनशॉट सोशल मीडिया पर वायरल हो गए थे.
परीक्षा को तुरंत रद्द नहीं किया गया लेकिन बीपीएससी ने प्रश्न पत्र लीक होने के बाद शाम को इसे रद्द करने की घोषणा की. प्रश्नपत्र लीक होने के आरोप के बाद बीपीएससी के अध्यक्ष आर के महाजन ने मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय समिति का गठन किया.
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