5 राज्‍यों में एक लाख से ज्‍यादा एक्टिव केस, 15% से ज्‍यादा पॉजिटिविटी रेट वाले 146 जिले चिंता का विषय : स्‍वास्‍थ्‍य सचिव

केंद्रीय स्‍वास्‍थ्‍य सचिव राजेश भूषण ने प्रेस कॉन्‍फ्रेंस में कहा कि कोरोना की दूसरी लहर में देश के लगभग सभी राज्य हैं. अभी जो एक्टिव केस हैं वो पिछले साल के एक्टिव केस के दोगुना है.

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स्‍वास्‍थ्‍य सचिव ने कहा, देश के लगभग सभी राज्‍य कोरोना की दूसरी लहर की चपेट में हैं
नई दिल्ली:

Covid-19 Pandemic: कोरोना के मामलों में लगातार इजाफे के बीच केंद्र सरकार ने कहा है कि देश के 146 जिले सरकार के लिए चिंता का विषय हैं, इन जिलों में 15% से ज्यादा पॉजिटिविटी रेट है. केंद्रीय स्‍वास्‍थ्‍य सचिव राजेश भूषण ने प्रेस कॉन्‍फ्रेंस में कहा कि कोरोना की दूसरी लहर में देश के लगभग सभी राज्य हैं. अभी जो एक्टिव केस हैं वो पिछले साल के एक्टिव केस के दोगुना है. उन्‍होंने कहा कि 740 जिलों में से 146 जिलों में 15% से ज्यादा पॉजिटिविटी रेट हैं ये जिले चिंता का विषय बने हुए हैं जबकि 274 जिले में 5 से 15% पॉजिटिविटी रेट है.स्‍वास्‍थ्‍य सचिव ने कहा कि 308 जिलों में 5% से कम पॉजिटिविटी रेट हैं. पांच राज्य में एक्टिव केस 1 लाख से ज्यादा हैं. 

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ये राज्‍य हैं-महाराष्ट्र, यूपी, कर्नाटक, छत्तीसगढ़, केरल.उन्‍होंने बताया कि रेलवे ने शकूरबस्ती और आनन्द विहार में 1200 बेड की और DRDO ने 500 बेड की व्यवस्था की है. देश मे कोवैक्सीन 1.1 करोड़ लोगों ने लिया जिसमे पहली डोज लेने के बाद 4208 और दूसरी डोज लेने के बाद 695 पॉजिटिव हुए. इसी तरह कोविशील्ड (11.6 करोड़) की पहली डोज के बाद 17145  और दूसरी डोज के बाद 5014 पॉजिटिव हुए. उन्‍होंने साफ किया केंद्र सरकार की तरफ से अब प्राइवेट अस्पतालों को टीका नहीं मिलेगा जबकि सरकारी सेन्टर्स पर पहले की तरह फ्री वैक्सीनेशनल होगी. वैक्सीनेशन सेन्टर्स को अभी के मुताबिक प्रोटोकॉल का पालन करना होगा. भारत सरकार पहले की ही तरह वैक्सीन अलॉट करेगी और 
एडवांस में राज्यों को केंद्र बताएंगी कि आपको कितनी वैक्सीन मिल रही है. फरफामेंस, इंफेक्शन का रेट और वेस्टेज क्या है, इन आधार पर केंद्र से राज्यो को टीका मिलेगा.

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ऑक्‍सीजन के बारे में उन्‍होंने कहा कि देश में इसका प्रोडक्शन 7500 मीट्रिक टन है जिसमे कुछ उद्योगों और कुछ अस्पतालों में इस्तेमाल होता है. 6600 मीट्रिक टन आज राज्यों को एलोकेट किया गया है. कुछ विशेष उद्योगों को छोड़कर अन्‍य को ऑक्सीजन की सप्लाई प्रतिबंधित होगी जिससे कि अस्पतालों को मिल सके. स्टील प्लांट, जिनके पास कैप्टिव प्लांट हैं उन्हें ऑक्सीजन मिलती रहेगी. ऑक्सीजन की कमी पर टिप्‍पणी करते हुए स्‍वास्‍थ्‍य सचिव ने कहा, 'कोई भी मृत्यु दुखद होती है. हम सबका प्रयास है कि मृत्यु न हो. एक कंट्रोल रूम है जो मॉनिटर करता है. दिल्ली पुलिस ने ग्रीन कॉरिडोर बनाये हैं जिससे कि ऑक्सीजन जल्दी पहुच सके. आने वाले दिनों में ऑक्सीजन की सप्लाई बढ़ाते रहेंगे. इस दौरान ICMR के महानिदेशक बलराम भार्गव, ने कहा कि कोरोना के मामले बढ़ ही रहे हैं इसलिए पीक कब आएगा, इसका अनुमान अभी नही लगाया जा सकता है. 

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