मध्य प्रदेश में 2023 (Madhya Pradesh Assembly Elections) में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले शिवराज सरकार (Shivraj Singh Chouhan) ने राज्य में मेट्रो चलाने की तैयारी शुरू कर दी है. इसके लिए शुक्रवार को भोपाल मेट्रो डिपो का उद्घाटन किया गया. वहीं 26 नवंबर को इंदौर डिपो का उद्घाटन किया जाना है. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने एम्स भोपाल के पास 8 मेट्रो रेलवे स्टेशनों का भूमि-पूजन किया. कार्यक्रम में नगरीय विकास एवं आवास मंत्री भूपेन्द्र सिंह रहे. इस दौरान कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सीएम चौहान ने कहा कि अद्भुत शहर है भोपाल. स्वच्छ भोपाल, हरित भोपाल, ऐतिहासिक भोपाल, हाईटैक भोपाल और अब मेट्रो सिटी भोपाल भी बनने जा रहा है. मुझे पूरा विश्वास है कि भोपाल शहर में मेट्रो का प्रोजेक्ट सफल होगा और इससे अनेकों बहनों-भाइयों को रोजगार के अवसर भी उपलब्ध होंगे.
नगरीय विकास एवं आवास मंत्री ने बताया है कि भोपाल मेट्रो रेल परियोजना के कॉरीडोर के 8 मेट्रो स्टेशनों के निर्माण के लिए अंतर्राष्ट्रीय निविदाएँ बुलाई गई थीं. कुल 426 करोड़ 67 लाख रुपये की लागत से 8 मेट्रो स्टेशन बनाए जाएंगे. प्रायोरिटी कॉरीडोर की वायाडक्ट का कार्य लगभग 70 प्रतिशत पूरा हो गया है. भोपाल मेट्रो रेल परियोजना में सुभाष नगर मेट्रो डिपो की डिजाइन बनाई जा चुकी है. जनवरी-2022 से इसका कार्य प्रारंभ हो जायेगा. भोपाल में एम्स से करोंद चौराहा तथा भदभदा चौराहे से रत्नागिरी तिराहे तक लगभग 30 किलोमीटर के 2 मेट्रो कॉरीडोर का निर्माण किया जा रहा है.
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विश्व-स्तरीय होंगे मेट्रो स्टेशन
जानकारी के अनुसार बनाए जाने वाले सभी 8 एलीवेटेड मेट्रो स्टेशन विश्व-स्तरीय सुविधाओं से लैस होंगे. ऊर्जा संरक्षण के लिए सभी स्टेशनों पर एलईडी लाइट एवं सोलर पैनल की व्यवस्था की जाएगा. रानी कमलापति रेलवे स्टेशन को मेट्रो स्टेशन के साथ स्काई वॉक के जरिए जोड़ा जायेगा. इस मेट्रो स्टेशन का नाम भी रानी कमलापति मेट्रो स्टेशन रखा जाएगा. सभी स्टेशनों पर मॉल की तरह सेंट्रल एयर कॉनकोर्स होगा, जिसमें एटीएम, खाद्य आउटलेट, कैफे, मोबाइल रिचार्ज आदि सेवाएँ उपलब्ध होंगी. सभी स्टेशनों पर शहर के अन्य आवागमन के साधनों के साथ सहयोजन की प्लानिंग की गई है.
अधिकारियों की मानें तो सभी मेट्रो स्टेशनों पर अत्याधुनिक ऑटोमेटिक फेयर कलेक्शन सिस्टम होगा. सुरक्षा के लिये पूर्णकालिक सी.सी.टी.वी. , मेटल डिटेक्टर एवं अन्य सुरक्षा के आधुनिक उपकरण लगाए जाएंगे. स्टेशन क्षेत्र का हरित विकास करने के साथ ही प्रभावित वृक्षों की प्रतिपूर्ति के लिए 4 गुणा पौधों का अग्रिम रोपण किया गया है. पर्यावरण संरक्षण के लिये वाटर हॉर्वेस्टिंग भी की जाएगी.
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