बजट में 'फ्यूचर इंडिया' के 3 कदम, जिनमें दुनिया को हिला देने का दम

केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को देश में परमाणु ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए 20,000 करोड़ रुपये के परमाणु मिशन, कानूनी ढांचे में संशोधन करके निजी कंपनियों को शामिल करने और स्वदेशी तरीके से पांच छोटे मॉड्यूलर रिएक्टर के विकास के साथ कई कदमों की घोषणा की है.

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बजट में दुनिया को हिला देने का दम
नई दिल्‍ली:

यह भविष्‍य का बजट है... वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इसमें कई ऐसे कदम उठाए हैं, जिनमें 'फ्यूचर इंडिया' की झलक दिखाई देती है. स्टार्टअप्‍स के फंड को बढ़ाने से लेकर न्यूक्लियर एनर्जी क्षेत्र को पावर देने का काम इस बजट में किया गया है. ये कुछ ऐसे कदम है, जिनमें पूरी दुनिया को हिला देने दम है. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने इसीलिए बजट को ‘ऐतिहासिक' करार देते हुए कहा कि ये हर भारतीय के सपनों को पूरा करेगा, ‘विकसित भारत' ​के मिशन को आगे ले जाएगा और साथ ही विकास, निवेश और उपभोग को कई गुणा बढ़ाएगा.

स्टार्टअप्‍स से बढ़ेगा इंडिया

भारत में आने वाले समय में और स्‍टार्टअप देखने को मिलेंगे... मोदी सरकार ने नए उद्यामियों की राह को आसान करने के लिए कई बड़े कदम बजट में उठाए हैं. नेक्‍स्‍ट जेनरेशन के स्टार्टअप को प्रोत्साहन के लिए डीप टेक फंड ऑफ फंड्स की संभावना तलाशी जा रही है. वित्‍त मंत्री ने बजट में स्‍टार्टअप्‍स को बढ़ावा देने के लिए खास जोर दिया है. स्‍टार्टअप्‍स और माइक्रो, स्‍मॉल और मीडियम एंटरप्राइजेज के लिए बड़े ऐलान किये गए हैं. एसएमई के लिए क्रेडिट गारंटी बढ़ाकर 10 करोड़ रुपये कर दी गई है और स्‍टार्टअप के लिए क्रेडिट गारंटी बढ़ाकर 20 करोड़ रुपये कर दी गई है. सोचिए, 20 हजार करोड़ रुपये में कितने नए स्‍टार्टअप्‍स को बूस्‍ट मिलेगा. कितने रोजगार पैदा होंगे. वित्‍त मंत्री ने बजट भाषण के दौरान बताया कि स्‍टार्टअप्‍स फंड ऑफ फंड्स को 91 हजार करोड़ रुपये मिल चुके हैं और अब इसे 10 हजार करोड़ रुपये का फंड और मिलेगा. मोदी सरकार, भारत को एक ऐसा देश बनाने की राह पर ले जा रहे हैं, जहां लाखों स्‍टार्टअप्‍स हों, जिनसे करोड़ों लोगों को रोजगार मिले.  

न्यूक्लियर एनर्जी के क्षेत्र में वर्ल्ड पावर बन रहा भारत

केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को देश में परमाणु ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए 20,000 करोड़ रुपये के परमाणु मिशन, कानूनी ढांचे में संशोधन करके निजी कंपनियों को शामिल करने और स्वदेशी तरीके से पांच छोटे मॉड्यूलर रिएक्टर के विकास के साथ कई कदमों की घोषणा की. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार के तीसरे कार्यकाल का दूसरा बजट पेश करते हुए वित्‍त मंत्री सीतारमण ने कहा कि परमाणु ऊर्जा मिशन के तहत 2047 तक कम से कम 100 गीगावाट का विकास हमारे ऊर्जा बदलाव प्रयासों के लिए आवश्यक है. उन्होंने कहा कि इस लक्ष्य के लिए निजी क्षेत्र के साथ सक्रिय भागीदारी के लिए परमाणु ऊर्जा अधिनियम और परमाणु क्षति के लिये नागरिक दायित्त्व अधिनियम में संशोधन किया जाएगा. उन्होंने यह भी घोषणा की कि छोटे मॉड्यूलर रिएक्टर के अनुसंधान और विकास के लिए 20,000 करोड़ रुपये की लागत से एक परमाणु ऊर्जा मिशन स्थापित किया जाएगा. देश में विकसित कम से कम पांच मॉड्यूलर रिएक्टर 2033 तक काम करने लगेंगे. अभी भारत में 462 गीगावाट बिजली उत्पादन क्षमता है, जिसमें आठ गीगावाट परमाणु ऊर्जा शामिल है. 

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जियो स्पेशल मिशन

इसरो (ISRO) का लोहा पूरी दुनिया मानती है और भारत का स्पेस सेक्टर तेजी से आगे बढ़ रहा है. अंतरिम बजट में स्पेस सेक्टर को वित्त वर्ष 2024-25 के लिए 13,042.75 करोड़ रुपये मिले थे. यह पिछले वित्त वर्ष वर्ष के 12,545 करोड़ रुपये से 4 फीसदी ज्यादा था. अब स्‍पेस डिपार्टमेंट को बजट में निर्मला सीतारमण ने 13,416.20 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं. इससे भारत की उड़ान अंतरिक्ष में और ऊंची हो जाएगी. बजट में सबसे महत्वपूर्ण कदमों में से एक पीएम गति शक्ति पहल के साथ संरेखित राष्ट्रीय भू-स्थानिक मिशन का शुभारंभ है. इस मिशन का उद्देश्य भूमि रिकॉर्ड को आधुनिक बनाने, शहरी नियोजन में सुधार और उपग्रह प्रौद्योगिकी के माध्यम से बुनियादी ढांचे के विकास का समर्थन करने के लिए स्थानिक डेटा विकसित करना है. 

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