अफगानिस्तान के काबुल में गुरुद्वारे पर हमले का आईएसआईएस ने दावा किया है. साथ ही आईएसआईएस ने कहा है कि यह पैगंबर मोहम्मद के 'अपमान' का प्रतिशोध था. बता दें कि भाजपा नेताओं की ओर से पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ कथित विवादास्पद टिप्पणी के बाद से देश-दुनिया के कई हिस्सों में मुस्लिम समुदाय के लोगों का विरोध देखने को मिल रहा है. वहीं भाजपा ने बढ़ते विवाद के बीच पांच जून को नुपुर शर्मा को निलंबित कर दिया था और नवीन जिंदल को पार्टी से निष्कासित कर दिया था.
आईएसआईएस ने अपनी अमाक (Amaq site) साइट पर पोस्ट किए गए एक संदेश में कहा है कि शनिवार के हमले में हिंदुओं, सिखों और "धर्मविरोधियों" को टारगेट किया गया है. बताते चलें कि काबुल में गुरुद्वारा पर शनिवार को सुबह आतंकियों ने हमला कर दिया था. इस दौरान मशीन गन और हथगोले से बोला गया. हमले में दो लोगों की मौत हो गई थी और कम से कम सात अन्य घायल हो गए थे. गृह मंत्रालय के प्रवक्ता अब्दुल नफी ताकोर ने कहा कि हमलावरों ने गुरुद्वारे में प्रवेश करते ही कम से कम एक ग्रेनेड फेंका और आग लगा दी.
गौरतलब है कि हाल ही में भारतीय प्रतिनिधिमंडल और तालिबान काबुल में मिले थे. साथ ही कई मद्दों पर बातचीत हुई थी. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा था कि भारतीय टीम अफगानिस्तान में कई जगहों का दौरा करने की कोशिश करेगी जहां भारत समर्थित परियोजनाओं और कार्यक्रमों को लागू किया जा रहा है. वहीं तालिबान ने भारत से अनुरोध किया कि वह अफगानिस्तान के साथ व्यापार में भी काम करने पर विचार करे.
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