मध्य प्रदेश सरकार ने मंगलवार को बताया कि राज्य में कोविड-19 महामारी के दौरान अपने कर्तव्यों का पालन करते हुए इस बीमारी की चपेट में आने से 40 चिकित्सकों की मौत हो गई. स्वास्थ्य मंत्री प्रभुराम चौधरी ने यह जानकारी राज्य विधानसभा में कांग्रेस के विधायक तरुण भनोट द्वारा पूछे गए एक प्रश्न के लिखित उत्तर में दी.
उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी के दौरान अपने कर्तव्यों का पालन करते हुए 40 चिकित्सकों की इस बीमारी की चपेट में आने से मौत हो गई. उन्होंने बताया कि इनमें सबसे ज्यादा 12 चिकित्सकों की मौत ग्वालियर में हुई.
मंत्री के अनुसार इसी तरह इंदौर में चार, होशंगाबाद, दतिया, पन्ना, सिंगरौली और छिंदवाड़ा में दो-दो तथा भोपाल, रायसेन, सीहोर, राजगढ़, विदिशा, उज्जैन, आगर मालवा, सिवनी, डिंडोरी, गुना, अशोक नगर, सागर, सतना, जबलपुर में एक-एक चिकित्सक की मौत हुई.
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कांग्रेस के विधायक ओमकार सिंह मरकाम द्वारा पूछे गए एक अन्य प्रश्न के लिखित उत्तर में मंत्री चौधरी ने बताया कि राज्य सरकार ने महामारी के दौरान कोविड-19 के उपचार और रोकथाम पर 2470.60 करोड़ रुपए खर्च किए. घरों में पृथकवास (होम आइसोलेशन) के दौरान 448 लोगों की मौत हुई, जबकि पांच करोड़ 72 हजार से अधिक लोग इस बीमारी से पांच दिसंबर, 2021 तक ठीक हो गए.
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