Covaxin कोरोना के खिलाफ 77.8 फीसदी कारगर, लैंसेट स्टडी में दिखा देसी वैक्सीन का दम

कोरोना की गंभीर बीमारी से बचाने में (गंभीर सिम्टोमेटिक कोविड-19 के मामले में) कोवैक्सीन 93.4 प्रतिशत असरदार है. बिना लक्षण वाले कोविड (Asymptomatic COVID 19) से बचाने में 63.6% प्रभावी है.

विज्ञापन
Read Time: 5 mins
गंभीर कोविड से बचाने में कोवैक्सीन 93.4 प्रतिशत प्रभावी (प्रतीकात्मक तस्वीर)
नई दिल्ली:

कोरोना वायरस (Coronavirus) को हराने के लिए देशव्यापी टीकाकरण अभियान (Vaccination Drive) चल रहा है. इस बीच, भारतीय वैक्सीन, भारत बायोटेक की कोवैक्सीन (Covaxin) के तीसरे चरण के क्लिनिकल ट्रायल के आंकड़े प्रकाशित हुए हैं. द लैंसेट जर्नल के मुताबिक, कोवैक्सीन वायरस के अधिक तेजी से संक्रमण फैलाने वाले डेल्टा वेरिएंट (Delta Variant) के खिलाफ 65.2 प्रतिशत प्रभावी है. देश और दुनिया में कोविड का डेल्टा स्वरूप अब भी चिंता का विषय बना हुआ. भारत में कोरोना की दूसरी लहर के पीछे भी डेल्टा वेरिएंट है, ऐसा माना जा रहा है. 

Symptomatic यानी लक्षण वाले कोरोना के मरीज़ होने से बचाने में भारत बायोटेक की कोवैक्सीन 77.8 फीसदी प्रभावी पाई गई है. कोरोना की गंभीर बीमारी से बचाने में (गंभीर सिम्टोमेटिक कोविड-19 के मामले में) कोवैक्सीन 93.4 प्रतिशत असरदार है. बिना लक्षण वाले कोविड (Asymptomatic COVID 19) से बचाने में 63.6% प्रभावी है.

सीरियस AEFI (टीकाकरण के बाद प्रतिकूल प्रभाव के गंभीर केस) के मामले महज़ 0.5% से भी कम पाए गए हैं. देसी टीका कोवैक्सीन SARS-CoV-2 वायरस के सभी वेरिएंट के खिलाफ 70.8 प्रतिशत सुरक्षा देता है. कोवैक्सीन को भारत बायोटेक और इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने विकसित किया है.

मेडिकल जर्नल ने कहा कि डेल्टा सेफ्टी मॉनिटरिंग बोर्ड ने वैक्सीन से जुड़ी किसी तरह की सुरक्षा चिंता की बात नहीं कही है. फेज-3 ट्रायल में प्रभावकारिता और सुरक्षा का आकलन करने के लिए की गई स्टडी में भारत के 25 स्थानों पर 25,800 वॉलेंटियर्स को शामिल किया गया.

वीडियो: कोवैक्सीन को आपात इस्तेमाल के लिए WHO की मंजूरी

Featured Video Of The Day
Operation Trishul: Indian Army की बढ़ती ताकत की गवाही, सरहद पर 'त्रिशुल' का खौफ | Shubhankar Mishra
Topics mentioned in this article