हर शादीशुदा महिलाएं करवा चौथ का व्रत रखती हैं. लेकिन कुछ ऐसी विशेष परिस्थितियां होती हैं, जिनके कारण महिलाओं को करवा चौथ का व्रत नहीं रखना चाहिए. ये निर्जला व्रत होता है. ऐसे में जो महिलाएं गर्भवती हैं, उन्हें ये व्रत नहीं करना चाहिए. गर्भावस्था में निर्जला व्रत रखने से सेहत पर बुरा असर पड़ता है, कई बार को बीपी भी लो हो जाता है. स्तनपान कराने वाली महिलाओं को भी ये व्रत नहीं करना चाहिए. स्तनपान कराने वाली महिलाएं अगर ये व्रत करती हैं तो उन्हें कमजोरी आ सकती है. साथ ही दूध पीने वाले बच्चे की सेहत पर भी असर पड़ सकता है.
डायबिटिक महिलाएं
डायबिटिक लोगों का अधिक देर तक भूखा रहना सही नहीं माना गया है. डायबिटिक लोगों को हर दो घंटे बाद कुछ न कुछ खाना चाहिए. अधिक देर तक भूखा रहने से कमजोरी आ जाती है और शुगर का स्तर बढ़ या घट सकता है. इसलिए शुगर होने पर व्रत न रखें.
पीरियड्स के दौरान
पारंपरिक मान्यताओं के अनुसार पीरियड्स के दौरान पूजा-पाठ नहीं करना चाहिए. इसलिए पीरियड्स होने पर ये व्रत न रखें. वहीं पीरियड्स के दौरान कई महिलाओं को कमजोरी भी आ जाती है. ऐसे में व्रत रखने से चक्कर आ सकते हैं.
अगर आप किसी गंभीर बीमारी से पीड़ित हैं तो भी ये व्रत न रखें. अगर व्रत करने का मन है तो पहले डॉक्टर से परामर्श कर लें.
इन बातों का रखें ध्यान
- सरगी के दौरान खूब पानी पीएं और हाइड्रेटिंग चीजें ही खाएं.
- व्रत के दौरान शरीर में निरंतर ऊर्जा बनी रहे, इसके लिए ओट्स, फल और दही चीजें सरगी में शामिल कर लें.
- व्रत के दौरान अगर चक्कर आए या बीपी लो हो तो व्रत खोल दें.
- शुगर के मरीज हो तो समय-समय पर शुगर के लेवल को चेक करते रहें.
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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)