Explainer: कैंसर की गांठ की पहचान कैसे करें? कितनी बड़ी होती है कैंसर की गांठ? कैसे करें पहचान? जानें क्या है इसका ट्रीटमेंट

Identifying The Cancer Lump : कैंसर की गांठ किसी भी व्यक्ति को हो सकती है, लेकिन अगर समय रहते इसका इलाज कर लिया जाए तो इससे निपटा जा सकता है. अगर शरीर में कोई एब्नॉर्मल गांठ हो तो इसे अनदेखा न करें. समय पर जांच और ट्रीटमेंट से कैंसर को शुरू में ही पकड़ा जा सकता है.

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कैंसर की गांठ की पहचान कैसे करें (Identifying The Cancer Lump | Cancer Ganth ki Pahchan)

Identifying The Cancer Lump : कैंसर एक ऐसी बीमारी है जिसका नाम सुनते ही मन में डर पैदा हो जाता है. यह किसी भी व्यक्ति को हो सकता है और समय पर इलाज न करने पर यह खतरनाक साबित हो सकती है. कैंसर की गांठ (Cancer Lump) शरीर के अलग-अलग हिस्सों में डेवलप हो सकती है और यह अलग-अलग शेपों की होती है. जब शरीर में कोई गांठ बनती है तो यह कई बार संकेत देती है कि किसी बॉडी पार्ट में सीरियस प्रॉब्लम हो सकती है.

इस आर्टिकल में हम जानेंगे कि कैंसर की गांठ कितनी बड़ी हो सकती है, इसकी पहचान कैसे की जा सकती है और इसके फूटने पर क्या होता है. इसके अलावा, हम यह भी जानेंगे कि कैंसर की गांठ कहां हो सकती है और उसकी जांच किस प्रकार की जाती है.

कैंसर की गांठ की पहचान कैसे करें (Identifying The Cancer Lump | Cancer Ganth ki Pahchan)

कैंसर की गांठ कितनी बड़ी होती है? | How Long is Cancer Lump?

कैंसर की गांठ का शेप शुरुआत में छोटा हो सकता है, जो सिर्फ कुछ मिलीमीटर का हो सकता है. हालांकि, जैसे-जैसे कैंसर का इंफेक्शन बढ़ता है, यह गांठ शेप में बड़ी होती जाती है. जब यह गांठ 1 से 2 सेंटीमीटर से अधिक हो जाती है, तो यह चिंता का कारण बन सकती है. ऐसे मामलों में व्यक्ति को डॉक्टर से परामर्श लेना जरूरी हो जाता है. इलाज न करने पर यह गांठ तेजी से बढ़ सकती है और इसके बाद समस्या और भी गंभीर हो सकती है. इसलिए समय पर जांच और इलाज बहुत महत्वपूर्ण है.

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कैंसर की गांठ की पहचान कैसे करें? | Identification of Cancer Lump | Cancer ki Gandh ke Lakshan

कैंसर की गांठ की पहचान करने में कुछ खास लक्षण मदद कर सकते हैं. शुरुआत में कैंसर की गांठ में दर्द नहीं होता, लेकिन समय के साथ यह गांठ और भी बड़ी हो सकती है और उसमें दर्द का अहसास हो सकता है. 

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1. असामान्य गांठ: अगर शरीर में कोई असामान्य गांठ डेवलप होती है और यह समय के साथ बढ़ती जाती है, तो यह कैंसर का संकेत हो सकता है. इस स्थिति में डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए.
  
2. हार्ड और स्टेबल गांठ: कैंसर की गांठ आमतौर पर हार्ड और स्टेबल होती है. जबकि दूसरी गांठें मुलायम और हिलने वाली होती हैं.

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3. स्किन में बदलाव: गांठ के ऊपर की स्किन में रंग या बनावट में बदलाव हो सकता है. यह भी एक संकेत हो सकता है कि गांठ कैंसर से संबंधित है.

4. दर्द का अनुभव: शुरुआती अवस्था में गांठ में दर्द नहीं होता, लेकिन जैसे-जैसे गांठ बढ़ती है, यह आसपास के टिश्यूज़ पर प्रेशर डाल सकती है जिससे दर्द का अहसास हो सकता है.

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कैंसर की गांठ फूटने से क्या होता है? | What Happens When a Cancer Lump Bursts?

कैंसर की गांठ फूटने की स्थिति बहुत गंभीर हो सकती है. गांठ के फूटने से इंटरनल ब्लीडिंग हो सकती है और आसपास के टिश्यूज़ ब्रेक हो सकते हैं. इसके अलावा, कैंसर सेल्स दूसरे बॉडी पार्ट्स में फैल सकती हैं, जिससे मेटास्टेसिस (कैंसर का फैलाव) की संभावना बढ़ जाती है. इसलिए, अगर किसी को गांठ में अचानक बदलाव महसूस हो या गांठ फूटने का अनुभव हो, तो उसे तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए. समय रहते इलाज से स्थिति को कंट्रोल किया जा सकता है.

कैंसर की गांठ कहाँ होती है? | Where Develops the Cancer Lump?

कैंसर की गांठ शरीर के अलग-अलग हिस्सों में हो सकती है. कुछ सामान्य स्थान जहां कैंसर की गांठ डेवलप हो सकती है, वे हैं:

1. ब्रेस्ट (Breast Cancer): महिलाओं में ब्रेस्ट में गांठ होना एक नॉर्मल प्रॉब्लम है. इस स्थिति में ब्रेस्ट का शेप बदल सकता है, गांठ महसूस हो सकती है या निप्पल से खून निकल सकता है.

2. गर्दन (Neck Cancer): गर्दन में लिम्फ नोड्स या थायरॉइड में गांठ डेवलप हो सकती है. यह भी कैंसर का एक प्रमुख लक्षण हो सकता है.

3. पेट और आंतों में (Stomach and Intestinal Cancer): पेट में गांठ या आंतों में कैंसर हो सकता है. 

4. स्किन (Skin Cancer): स्किन पर असामान्य गांठें या धब्बे कैंसर का संकेत हो सकते हैं. 

5. फेफड़े (Lung Cancer): फेफड़ों का कैंसर मुख्य रूप से उन लोगों में पाया जाता है जो धूम्रपान या शराब का सेवन करते हैं.

कैंसर की जाँच कैसे की जा सकती है? | How is Cancer Diagnosed?

अगर शरीर में कोई असामान्य गांठ महसूस हो, तो डॉक्टर से परामर्श लेना बेहद जरूरी है. कैंसर की पहचान के लिए अलग-अलग टेस्ट और जांचें की जाती हैं:

1. बायोप्सी (Biopsy): बायोप्सी में गांठ का एक छोटा सा नमूना लिया जाता है और उसे लैब में जांचा जाता है. यह प्रोसेस कैंसर की पहचान करने के लिए सबसे असरदार तरीका है.

2. चिकित्सकीय परामर्श (Medical Consultation): डॉक्टर से सलाह लेकर आप अपनी स्थिति का सही वैल्युवेशन करवा सकते हैं. 

3. नियमित जांच (Regular Checkups): नियमित हेल्थ चेकअप से भी आप कैंसर को समय रहते पहचान सकते हैं और इससे बचाव कर सकते हैं.

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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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