ज्‍यादा सोचने वाली इस बीमारी से बढ़ जाता है Dysmenorrhea यानी पीर‍ियड के दर्द का खतरा, ऐसी बात जो हर औरत को पता होनी चाह‍िए

परिणामों से पता चला कि नींद में गड़बड़ी बढ़ने से मासिक धर्म के दर्द में वृद्धि हो सकती है, इस प्रकार दोनों स्थितियों को जोड़ने के लिए नींद की समस्याओं पर ध्यान देने की आवश्यकता पर बल दिया गया.

विज्ञापन
Read Time: 3 mins

एक शोध में यह बात सामने आई है कि डिप्रेशन से पीड़ित महिलाओं में मासिक धर्म के दौरान दर्द, जिसे डिसमेनोरिया (Dysmenorrhea) भी कहा जाता है, होने की संभावना अधिक होती है.  पिछले शोधों से पता चला है कि महिलाओं में पुरुषों की तुलना में डिप्रेशन से पीड़ित होने की संभावना दोगुनी होती है और अक्सर उन्हें अधिक गंभीर शारीरिक लक्षण अनुभव होते हैं. जबकि मानसिक स्वास्थ्य और प्रजनन स्वास्थ्य के बीच संबंध पाए गए हैं, लेकिन इनके बीच संबंधों का अभी तक पता नहीं लगाया जा सका है.

इसे समझने के लिए चीन और यूके के शोधकर्ताओं ने एक अध्ययन का नेतृत्व किया, जिसमें उन्होंने जेनेटिक वेरिएशन (आनुवंशिक विविधता) का विश्लेषण किया और एक विशिष्ट जीन की पहचान की जो मासिक धर्म के दर्द पर अवसाद के प्रभाव के लिए जिम्मेदार हो सकते हैं.

शीआन जियाओटोंग-लिवरपूल-यूनिवर्सिटी, चीन के डॉक्टरेट छात्र, प्रमुख लेखक शुहे लियू ने कहा, ''हमारे निष्कर्ष इस बात के सबूत देते है कि डिप्रेशन डिसमेनोरिया (मासिक धर्म के दौरान दर्द) का कारण हो सकता है, इसका परिणाम नहीं हो सकता.''

Also Read: ऐसे खा लिए अखरोट, तो इतनी तेज़ी से बढ़ेंगे बाल कि कटवाते-कटवाते जायेंगे थक, गंजे सिर पर उग सकेंगे बाल, जान लें ये राज...

हालांकि उन्हें इस बात का सबूत नहीं मिला कि मासिक धर्म के दर्द से डिप्रेशन का खतरा बढ़ जाता है. जर्नल ब्रीफिंग इन बायोइनफॉर्मेटिक्स में प्रकाशित अध्ययन में टीम ने यूरोपीय आबादी से लगभग 600,000 मामलों और पूर्वी एशियाई आबादी से 8,000 मामलों का विश्लेषण किया और दोनों डेटासेट में एक मजबूत लिंक देखा.

उन्होंने डिप्रेशन से पीड़ित लोगों में नींद की भूमिका की भी जांच की. परिणामों से पता चला कि नींद में गड़बड़ी बढ़ने से मासिक धर्म के दर्द में वृद्धि हो सकती है, इस प्रकार दोनों स्थितियों को जोड़ने के लिए नींद की समस्याओं पर ध्यान देने की आवश्यकता पर बल दिया गया.

Advertisement

इसके अलावा अध्ययन ने मानसिक स्वास्थ्य और प्रजनन संबंधी समस्याओं का इलाज करते समय एक समग्र दृष्टिकोण की आवश्यकता पर भी बात की है. लियू ने कहा कि मासिक धर्म (पीरियड) के दर्द जैसी स्थितियों का इलाज करते समय अक्सर मानसिक विकारों पर विचार नहीं किया जाता. हमारे निष्कर्ष गंभीर मासिक धर्म दर्द से पीड़ित लोगों के लिए मानसिक स्वास्थ्य जांच के महत्व पर जोर देते हैं.

(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

Advertisement
Featured Video Of The Day
Germany में Madhya Pradesh के CM Mohan Yadav का गर्मजोशी से स्वागत | Investor Summit