50 साल से कम उम्र के लोगों में 80 फीसदी बढ़े कैंसर के मामले, आने वाले सालों में और बिगड़ सकते हैं हालात

शोध से पता चलता है कि वृद्धावस्था समूहों के विशिष्ट माने जाने वाले कैंसर अब तेजी से युवा लोगों में देखे जा रहे हैं. इनमें आंत का कैंसर (bowel cancer), पेट का कैंसर (stomach cancer ), स्तन कैंसर (breast cancer ), गर्भाशय कैंसर (uterine cancer ) और अग्नाशय कैंसर (pancreatic cancer) शामिल हैं. 

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अगर आप भी यह सोच रहे हैं कि कैंसर (Cancer) बुढ़ापे की बीमारी है, तो इस नए अध्‍ययन के बाद आपकी सोच भी बदल जाएगी. लोगों की चिंता बढ़ा रहे इस शोध में पता चलता है कि युवा वयस्कों में कैंसर एक बढ़ती समस्या है. अध्ययन में पाया गया कि पिछले तीन दशकों में वैश्विक स्तर पर कैंसर से पीड़ित 50 वर्ष से कम उम्र के लोगों की संख्या में लगभग 80 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है. 

इस में भी चिंता की बात इन कैंसर के प्रकारों को लेकर है. इस नवीनतम अध्ययन और पिछले शोध से पता चलता है कि वृद्धावस्था समूहों के विशिष्ट माने जाने वाले कैंसर अब तेजी से युवा लोगों में देखे जा रहे हैं. इनमें आंत का कैंसर (bowel cancer), पेट का कैंसर (stomach cancer ), स्तन कैंसर (breast cancer ), गर्भाशय कैंसर (uterine cancer ) और अग्नाशय कैंसर (pancreatic cancer) शामिल हैं. 

यह चिंताजनक है, क्योंकि इनमें से कुछ कैंसर - विशेष रूप से अग्नाशय (pancreatic cancer) और पेट के कैंसर (stomach cancer) - में जीवित रहने की दर कम (low survival rates) होती है, इस तथ्य के कारण कि उनका अक्सर देर से निदान (diagnosed) किया जाता है.  शोध से यह भी पता चला है कि वृद्ध वयस्कों की तुलना में युवा लोगों में आंत्र कैंसर का निदान अधिक उन्नत चरण में होता है.

बीएमजे ऑन्कोलॉजी जर्नल में प्रकाशित एक अध्ययन के अनुसार, पिछले 30 वर्षों में दुनिया भर में 50 वर्ष से कम उम्र के लोगों में कैंसर के नए मामलों में 79 प्रतिशत की उल्लेखनीय वृद्धि हुई है. श्वासनली और प्रोस्टेट कैंसर के मामले इस दौरान सबसे अधिक रिपोर्ट किए गए हैं जो चिंता बढ़ाने वाले हैं. स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं सभी लोगों को कैंसर से बचाव के लिए निरंतर प्रयास करते रहने की आवश्यकता है.

कम उम्र में कैंसर के पीछे की वजह क्‍या हो सकती है 

हालाँकि इस नवीनतम अध्ययन से यह स्पष्ट है कि कैंसर 50 से कम उम्र वालों में अधिक आम होता जा रहा है, विशेषज्ञ अभी भी पूरी तरह से निश्चित नहीं हैं कि इस वृद्धि का कारण क्या है. 

बेहद शुरुआती कैंसर अध्ययन ने 204 देशों और क्षेत्रों के 50 वर्ष से कम उम्र के लोगों में कैंसर के मामलों की जांच की (जिसे "प्रारंभिक-शुरुआत कैंसर" कहा जाता है). विश्लेषण किया गया डेटा 1990 और 2019 के बीच एकत्र किया गया था. शोधकर्ता न केवल शुरुआती कैंसर की घटनाओं को जानने में रुचि रखते थे, बल्कि 50 से कम उम्र में किस प्रकार के कैंसर का बोझ सबसे अधिक था.

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उन्होंने पाया कि 2019 में, दुनिया भर में शुरुआती कैंसर के निदान के 3.26 मिलियन मामले थे - 1990 के बाद से 79 फीसदी की बढ़ोतरी. लेखकों ने यह भी भविष्यवाणी की है कि 2030 तक, कैंसर से पीड़ित 50 वर्ष से कम उम्र के लोगों की संख्या में 31फीसदी  की और बढ़ोतरी होगी.

स्तन कैंसर 2019 में सबसे आम शुरुआती कैंसर था, लेकिन प्रोस्टेट और गले के कैंसर की घटनाएं 1990 के बाद से सबसे तेज दर से बढ़ी हैं. इसी अवधि में लिवर कैंसर सबसे तेजी से कम हुआ है.

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किस उम्र में है कैंसर का ज्‍यादा खतरा

अज्ञात कारण 50 वर्ष से कम उम्र में कैंसर क्यों बढ़ रहा है, इसका कोई एक कारण नहीं है. 

युवा लोगों में कुछ कैंसर आनुवंशिक स्थिति के परिणामस्वरूप होते हैं - लेकिन ये केवल कुछ ही मामलों (लगभग 20%) के लिए जिम्मेदार होते हैं.

शुरुआती कैंसर के कारण होने वाली मौतों की संख्या भी 1990 से 2019 तक बढ़ी है - हालांकि निदान की दर की तुलना में कम तेजी से, 2019 में दुनिया भर में 1.06 मिलियन मौतों के साथ, 28 फीसदी की वृद्धि हुई है. 2019 में सबसे ज्यादा मौतों वाले कैंसर स्तन, फेफड़े, आंत और पेट के कैंसर थे. प्रारंभिक कैंसर के सबसे बड़े जोखिम वाले आयु वर्ग में वे लोग थे जिनकी उम्र 40 वर्ष से अधिक थी.

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2019 में, महिलाओं में जल्दी शुरू होने वाले स्तन कैंसर का बोझ सबसे ज्यादा था, जबकि पुरुषों पर जल्दी शुरू होने वाले फेफड़ों के कैंसर का बोझ सबसे ज्यादा था. निम्न और मध्यम आय वाले देशों में शुरुआती कैंसर से मृत्यु और खराब स्वास्थ्य के मामले में महिलाएं असमान रूप से प्रभावित हुईं.

क्‍या जगह का भी पड़ता है असर

अध्ययन से यह भी पता चलता है कि शुरुआती कैंसर के मामलों की सबसे अधिक संख्या पश्चिमी यूरोप, उत्तरी अमेरिका और ऑस्ट्रेलिया जैसे विकसित देशों में थी, वहीं कई मामले निम्न और मध्यम आय वाले देशों में भी देखे गए थे. निम्न और मध्यम आय वाले देशों में मृत्यु दर भी अधिक थी.

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इस पेपर की मुख्य सीमा विभिन्न देशों द्वारा एकत्र किए गए डेटा की परिवर्तनशीलता है, जिससे इसकी पूर्णता को मापना मुश्किल हो जाता है. बहरहाल, वैश्विक स्वास्थ्य की तस्वीर पाने में यह अभी भी उपयोगी है.


क्‍या लाइफस्‍टाइल भी है बढ़ते कैंसर के मामलों के पीछे 

जीवनशैली के कारक जैसे कि हम जो भोजन खाते हैं, चाहे हम शराब पीते हों या धूम्रपान करते हों, और अधिक वजन होना, ये सभी कई प्रकार के कैंसर के बढ़ते जोखिम से जुड़े हैं. अनुसंधान इंगित करता है कि उदाहरण के लिए, ये कारक प्रारंभिक-शुरुआत कोलरेक्टल कैंसर में वृद्धि में योगदान दे सकते हैं। क्या यह अन्य प्रकार के शुरुआती कैंसर के लिए सच है यह अज्ञात है.

प्रारंभिक कैंसर से प्रभावित कुछ लोग स्वस्थ जीवन शैली जी सकते हैं. इससे पता चलता है कि संभवतः वृद्धि के अन्य कारण भी हैं जिनका अभी तक पता नहीं चल पाया है.

इस शोध से यह स्पष्ट है कि कैंसर का परिदृश्य बदल रहा है. हालाँकि शुरुआती कैंसर के मामले बढ़ रहे हैं, फिर भी इस आयु वर्ग में कैंसर 50 से ज्‍यादा उम्र वालों की तुलना में बहुत कम आम है. यूके में नए मामलों में शुरुआती कैंसर का केवल दसवां हिस्सा ही होता है. हालांकि संख्याएं अभी भी अपेक्षाकृत कम हैं, इसका मतलब यह नहीं है कि जो प्रवृत्ति हम देख रहे हैं वह चिंता का विषय नहीं है.

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(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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