Ekadashi 2025: 13 फरवरी गुरुवार से फाल्गुन माह की शुरुआत हो रही है. फाल्गुन माह की पूर्णिमा पर होली का त्योहार मनाया जाता है. इस माह में और भी कई महत्वपूर्ण व्रत और त्योहार आते हैं. इनमें विजया एकादशी, आमलकी एकादशी, द्विजप्रिय संकष्टी चतुर्थी, महाशिवरात्रि और होली शामिल हैं. हर माह के दोनों पक्षों की एकादशी तिथि भगवान विष्णु को समर्पित है. इस दिन भक्त व्रत रखते हैं और भगवान विष्णु की पूजा करते हैं. मान्यता है कि एकादशी पर व्रत रखने और भगवान विष्णु की पूजा करने से भक्तों को जीवन में सुख और समृद्धि की प्राप्ति होती है और हर तरह के संकटों से मुक्ति मिलती है. फाल्गुन माह की एकादशी विजया एकादशी (Vijaya Ekadashi) और आमलकी एकादशी (Amalaki Ekadashi) कहलाती है. आइए जानते हैं विजया एकादशी और आमलकी एकादशी की तिथि और शुभ मुहूर्त.
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विजया एकादशी 2025 की तिथि और शुभ मुहूर्त | Vijaya Ekadashi Date And Shubh Muhurt
फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि 23 फरवरी, रविवार को दोपहर 1 बजकर 55 मिनट पर शुरू होकर 24 फरवरी, सोमवार को दोपहर 1 बजकर 44 मिनट पर समाप्त होगी. ऐसे में विजया एकादशी का व्रत 24 फरवरी को रखा जाएगा. एकादशी व्रत का पारण द्वादशी तिथि पर किया जाता है. विजया एकादशी व्रत पारण का शुभ मुहूर्त 25 फरवरी, मंगलवार को सुबह 6 बजकर 50 मिनट से सुबह 9 बजकर 8 मिनट तक है.
फाल्गुन माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि 9 मार्च, रविवार को रात 7 बजकर 45 मिनट पर शुरू होगी और 10 मार्च सोमवार को सुबह 7 बजकर 44 मिनट पर समाप्त होगी. इसीलिए 10 मार्च को फाल्गुन माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी आमलकी एकादशी का व्रत रखा जाएगा. आमलकी एकादशी व्रत का पारण करने का समय 11 मार्च, मंगलवार को सुबह 6 बजकर 35 मिनट से लेकर 8 बजकर 13 मिनट तक है.
विजया एकादशी का उल्लेख पद्म और स्कन्द पुराण में मिलता है. मान्यता है कि शत्रुओं और संकटों से घिरे होने पर विजया एकादशी का व्रत करने से जीत सुनिश्चित की जा सकती है. पौराणिक कथाओं के अनुसार रावण से युद्ध लड़ने से पहले भगवान श्रीराम ने भी विजया एकादशी व्रत किया था.
आमलकी एकादशी का महत्व (Importance of Amalaki Ekadashi)आमलकी एकादशी वर्ष के सबसे महत्वपूर्ण एकादशी व्रतों में शामिल है. मान्यता है कि आमलकी एकादशी का व्रत करने सौ गायों का दान करने जितना पुण्य प्राप्त होता है.
एकादशी पर दान का महत्व (Importance of Daan on Ekadashi)हिंदू धर्म में शुभ तिथियों पर दान का विशेष महत्व है और हर तरह के शुभ कार्यों में हल्दी का उपयोग जरूर किया जाता है. एकादशी तिथि पर हल्दी का दान करने से ग्रह दोषों से मुक्ति मिल सकती है. फाल्गुन माह की विजया और आमलकी एकादशी पर हल्दी का दान करना बहुत शुभ माना गया है. इन दोनों एकादशी पर हल्दी का दान करने से ग्रह दोषों से मुक्ति प्राप्त हो सकती है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)