
भुवनेश्वर:
ओडिशा सरकार ने छात्रों के घर तक व्यावहारिक विज्ञान की कक्षा पहुंचाने के लिए दक्षिण ओडिशा के पांच पिछड़े प्रखंडों के लिए एक सचल विज्ञान प्रयोगशाला योजना शुरू की. राज्य के मुख्य सचिव ए पी पाधी ने सचल विद्यालय एवं सामुदायिक विज्ञान प्रयोगशालाओं को रवाना करते हुए कहा, ‘‘राज्य सरकार ने टीसीएस फाउंडेशन और टाटा ट्रस्ट के सहयोग से यह पहल शुरू की है.’’ उन्होंने कहा कि पहल का उद्देश्य समुदाय, विद्यालय, शिक्षकों एवं छात्रों सहित बहु हितधारकों को जोड़कर दक्षिण ओडिशा में उत्कृष्ट शिक्षा के माहौल का निर्माण करना है.
टाटा ट्रस्ट के क्षेत्रीय प्रबंधक जितेंद्र नायक ने कहा कि ये वाहन मुनिगुडा, बिस्समकटक, थुआमुल रामपुर, लंजीगढ़ और कोठगढ़ प्रखंडों में जाएंगे. इन वाहनों को बहुउद्देश्यीय सचल प्रयोगशालाओं के रूप में डिजाइन किया गया है और इनके दायरे में इन प्रखंडों की सभी प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालय आएंगे.
मुख्य सचिव ने कहा कि 250 स्कूलों के करीब 25,000 छात्र इन सचल प्रयोगशालाओं से लाभान्वित होंगे जो टीवी, प्रोजेक्टर, ऑडियो एंप्लीफायर, जीपीएस ट्रैकर आदि से लैस हैं.
न्यूज एजेंसी भाषा से इनपुट
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टाटा ट्रस्ट के क्षेत्रीय प्रबंधक जितेंद्र नायक ने कहा कि ये वाहन मुनिगुडा, बिस्समकटक, थुआमुल रामपुर, लंजीगढ़ और कोठगढ़ प्रखंडों में जाएंगे. इन वाहनों को बहुउद्देश्यीय सचल प्रयोगशालाओं के रूप में डिजाइन किया गया है और इनके दायरे में इन प्रखंडों की सभी प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालय आएंगे.
मुख्य सचिव ने कहा कि 250 स्कूलों के करीब 25,000 छात्र इन सचल प्रयोगशालाओं से लाभान्वित होंगे जो टीवी, प्रोजेक्टर, ऑडियो एंप्लीफायर, जीपीएस ट्रैकर आदि से लैस हैं.
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