राजस्थान में एक समय ऐसा था जब महिलाओं का चेहरा सिर्फ़ उनके करीबी परिवार के लोग ही देखते थे, घर के अंदर भी घूंघट जैसी परंपराओं का सख्ती से पालन किया जाता था. लेकिन जैसे-जैसे समय बदला है, वैसे-वैसे कई पिछड़ी परंपराएं भी बदल गई हैं. आधुनिक राजस्थानी परिवारों में बाल विवाह और घूंघट जैसी प्रथाएं काफ़ी कम हो गई हैं.
हाल ही में राजस्थान का एक मज़ेदार वीडियो वायरल हुआ है, जिसने दर्शकों को खूब हंसाया और सोचने पर मजबूर कर दिया है. क्लिप में, पारंपरिक राजस्थानी घाघरा पहने दो महिलाएं फ़र्श पर बैठी हुई दिखाई दे रही हैं, जो सोशल मीडिया पर रील बना रही हैं. महिलाओं में से एक ने एक छोटे बच्चे को गोद में लिया हुआ है, जबकि दोनों महिलाएं मुस्कुरा रही हैं और खुशी से पोज दे रही हैं. उनके पहनावे से उनकी सांस्कृतिक जड़ें साफ़ झलक रही हैं.
लेकिन इंटरनेट का ध्यान सबसे ज़्यादा महिलाओं की रील ने नहीं खींचा; बल्कि उनके पीछे मौजूद पुरुष ने खींचा. जाहिर है, उनके ससुर, बुजुर्ग शख्स शांत भाव से रोटियां बनाते हुए दिखाई दे रहे हैं जबकि बहुएं उनका वीडियो बना रही हैं. पारंपरिक पारिवारिक भूमिकाओं के साथ आधुनिक सोशल मीडिया की आदतों ने ऑनलाइन हास्य और बहस दोनों को बढ़ावा दिया है.
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पूरे वीडियो में, महिलाएं दोस्ताना और सहज दिखाई देती हैं, उनकी बाहें एक-दूसरे के कंधों पर टिकी हुई हैं, जबकि बुज़ुर्ग शख्स कभी-कभी उनकी ओर देखता है, लेकिन बिना किसी बाधा के अपना खाना पकाना जारी रखता है. दर्शकों ने इस मज़ेदार दृश्य को लेकर अलग-अलग तरह से रिएक्ट किया है.
इस वीडियो को इंस्टाग्राम पर @rajasthani_masti7 नाम के अकाउंट से सेयर किया गया है और 6 हज़ार से ज्यादा लोगों ने वीडियो को लाइक किया और ढेरों लोग वीडियो पर कमेंट कर रहे हैं. कुछ लोगों ने मज़ाक में इसे कलियुग का संकेत बताया है, जो भारतीय पौराणिक कथाओं में नैतिक पतन के समय का वर्णन करने के लिए इस्तेमाल किया जाने वाला शब्द है. एक यूजर ने कहा, "जब बेटी शादी के बाद घर आती है तो पिता उसके साथ ऐसा ही व्यवहार करता है," जबकि कुछ लोगों ने कहा कि हो सकता है वह सुसर न हों बल्कि घर का नौकर हो.
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