भारत- अमेरिका व्यापार समझौते पर जल्द लग सकती है मुहर, ट्रंप के साथी ने बताया दिल्ली फायदे में क्यों 

अमेरिकी वाणिज्य सचिव हॉवर्ड लुटनिक ने कहा कि पहले सहमत समझौतों में से एक होने से भारत को अधिक अनुकूल शर्तें मिल सकती हैं.

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प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (फाइल फोटो)

अमेरिका के कॉमर्स सेक्रेटरी हॉवर्ड लुटनिक के अनुसार, नई दिल्ली और वाशिंगटन के बीच व्यापार समझौते को जल्द ही अंतिम रूप दिया जा सकता है. उन्होंने कहा कि भारत और अमेरिका ने "एक ऐसी जगह ढूंढ ली है जो वास्तव में दोनों देशों के लिए काम करती है." उनकी ओर से यह टिप्पणी भारत-अमेरिका के बीच आमने-सामने की वार्ता के अंतिम दौर से पहले आई है, जो इस सप्ताह नई दिल्ली में होने की उम्मीद है.

लुटनिक ने रविवार को यूएस-इंडिया स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप फोरम (यूएसआईएसपीएफ) के आठवें संस्करण में अपने मुख्य भाषण में कहा, "आपको निकट भविष्य में अमेरिका और भारत के बीच एक समझौते की उम्मीद करनी चाहिए क्योंकि मुझे लगता है कि हमें एक ऐसी जगह मिल गई है जो वास्तव में दोनों देशों के लिए काम करती है." उन्होंने कहा, "जब वे भारत में सही व्यक्ति को सामने रखते हैं, तो मेज के दूसरी तरफ सही व्यक्ति को बिठाते हैं, और हम ऐसा मैनेज कर चुके हैं, मुझे लगता है." लुटनिक ने यह भी कहा कि पहले सहमत समझौतों में से एक होने से भारत को अधिक अनुकूल शर्तें मिल सकती हैं.

लुटनिक ने कहा, "पहले जो देश आएंगे उनको बेहतर डील मिलती है, ऐसा ही होता है. इसलिए जो लोग 4 जुलाई से 9 जुलाई के बीच आएंगे, उनका ढेर लग जाएगा." उन्होंने कहा कि भारत दूसरे देशों से पहले आने की कोशिश कर रहा है.

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भारत को भी उम्मीद

भारत ने यह भी कहा कि वह प्रस्तावित द्विपक्षीय समझौते को अंतिम रूप देने के लिए सक्रिय रूप से काम कर रहा है, जिसका उद्देश्य व्यापार में उल्लेखनीय विस्तार करना और एक-दूसरे के व्यवसायों के लिए बाजार पहुंच प्रदान करना है. सोमवार को फ्रांस में मीडिया से बात करते हुए, वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने कहा, "दोनों देश एक साथ काम करने के लिए प्रतिबद्ध हैं, और दोनों एक-दूसरे के व्यवसायों को तरजीही पहुंच देने की इच्छा रखते हैं. हम द्विपक्षीय व्यापार समझौते की दिशा में काम कर रहे हैं."

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भारत-अमेरिका व्यापार समझौता

भारत-अमेरिका व्यापार समझौते की घोषणा फरवरी में प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने की थी. प्रस्तावित समझौते को एक बहु-क्षेत्रीय सौदे के रूप में देखा गया है, जिसके पहले चरण को सितंबर-अक्टूबर 2025 तक अंतिम रूप दिए जाने की उम्मीद है. इसका लक्ष्य 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार की मात्रा को मौजूदा 191 बिलियन अमेरिकी डॉलर से दोगुना से अधिक करके 500 बिलियन अमेरिकी डॉलर तक पहुंचाना है.

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अंतरिम समझौते पर चर्चा को आगे बढ़ाने के लिए वाशिंगटन से एक प्रतिनिधिमंडल इस समय नई दिल्ली में है, जिसे जून के अंत तक अंतिम रूप दिए जाने की उम्मीद है. नई दिल्ली अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा अमेरिका को निर्यात किए जाने वाले भारतीय सामानों पर लगाए गए 26 प्रतिशत के रेसिप्रोकल टैरिफ से पूरी तरह छूट देने पर जोर दे रही है.

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