यूक्रेन और रूस के बीच तनाव जारी है. यूक्रेन पर अब भी युद्ध का खतरा मंडरा रहा है. यूक्रेन और रूस दोनों ने रविवार को युद्ध को टालने के लिए गहन कूटनीतिक प्रयासों का आह्वान किया. हालांकि, दोनों देशों ने सीमा पर गोलाबारी तेज करने के लिए एक-दूसरे को दोषी ठहराया. फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की से फोन पर अलग-अलग बातचीत की और वार्ता के लिए जोर दिया.
अमेरिका यूक्रेन पर रूसी हमले की चेतावनी दे रहा है. वहीं, फ्रांस के राष्ट्रपति कार्यालय ने इस बातचीत को यूक्रेन में बड़े संघर्ष को रोकने के लिए 'अंतिम संभव और जरूरी' प्रयास करार दिया.
अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा कि रूस यूक्रेन पर हमला करने की कगार पर है. हालांकि, उन्होंने वादा किया कि जब तक टैंक वास्तव में आगे नहीं बढ़ते और विमान उड़ान नहीं भरते, तब तक हम हर अवसर का उपयोग करेंगे. हम हर मौके का इस्तेमाल करेंगे और यह देखेंगे कि क्या कूटनीति अभी भी राष्ट्रपति पुतिन को इस कदम को आगे बढ़ाने से रोक सकती है?'' उन्होंने कहा, ''अगर युद्ध टाला जा सकता है तो राष्ट्रपति बाइडन किसी भी समय, किसी भी प्रारूप में राष्ट्रपति पुतिन से बातचीत को तैयार हैं."
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क्रेमलिन के एक बयान के अनुसार, मैक्रों के साथ अपनी 105 मिनट की बातचीत के दौरान पुतिन ने कहा, "यूक्रेन सुरक्षा बलों द्वारा उकसावे की कार्रवाई की वजह से तनाव बढ़ा है."
पुतिन ने "सुरक्षा गारंटी की रूस की मांगों को गंभीरता से लेने की" बात दोहराई है. दोनों नेताओं का मानना है कि कूटनीतिक तरीकों से समाधान खोजने के प्रयासों को तेज करना महत्वपूर्ण है.
फ्रांस के राष्ट्रपति मैक्रों के कार्यालय ने यह भी कहा कि दोनों "मौजूदा संकट के कूटनीतिक समाधान का समर्थन करने और इसको हासिल करने के लिए जो कुछ भी करना जरूरी हो" पर सहमत हुए हैं. साथ ही दोनों देशों के विदेश मंत्री आने वाले दिनों में मुलाकात करेंगे.
मैक्रों, बाइडन, जर्मनी के चांसलर ओलाफ स्कोल्ज़ और उनके अन्य साथी नेता युद्ध के कगार से पीछे हटने का रूस से आग्रह कर रहे हैं.
रूस की मांग है कि नाटो अलायंस यूक्रेन के सदस्यता की डिमांड को पूरी तरह से खारिज कर दे और पूर्वी यूरोप में तैनात पश्चिमी देशों की फोर्स को वापस बुलाए.
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यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की ने रविवार को अपने फ्रांसीसी समकक्ष इमैनुएल मैक्रों के साथ फोन पर बातचीत के बाद आर्गनाइजेशन फॉर सिक्योरिटी एंड को-ऑपरेशन इन यूरोप (OSCE) के तत्वावधान में रूस के साथ बातचीत फिर से शुरू करने और तत्काल युद्धविराम का आह्वान किया.
यूक्रेन, रूस और ओएससीई सहित त्रिपक्षीय संपर्क समूह का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा, "हम शांति प्रक्रिया को तेज करने के लिए खड़े हैं. हम टीसीजी के तत्काल आयोजन का समर्थन करते हैं."
इस आह्वान के बाद, ओएससीई ने कहा कि वह तनाव को कम करने के तरीकों की तलाश के लिए सोमवार को बैठक करेगा.
इससे पहले, बेलारूस की घोषणा के बाद तनाव बढ़ने की आशंका बढ़ गई थी. बोलारूस ने कहा था कि रविवार को संयुक्त अभ्यास खत्म होने के बाद भी रूसी सेना उसकी सरजमीं पर रहेगी.
रूस ने पहले कहा था कि बेलारूस में उसके 30,000 सैनिक हैं, जो सहयोगी देश (बेलारूस) के साथ ड्रिल कर रहे हैं. यह ड्रिल रविवार तक समाप्त हो जाएगी, जिससे रूसी सैनिक अपने ठिकानों पर वापस लौट सकेंगे.
हालांकि, बेलारूस के रक्षा मंत्रालय ने कहा कि पुतिन और बेलारूस के नेता अलेक्जेंडर लुकाशेंको ने अपनी साझा सीमाओं पर सैन्य गतिविधियों में वृद्धि और पूर्वी यूक्रेन में कथित रूप से "संघर्ष तेज होने" का हवाला देते हुए "निरीक्षण जारी रखने" का फैसला किया था.
इस विस्तारित ड्रिल से यूक्रेन पर और शिकंजा कस सकता है. यूक्रेन पहले से ही रूस समर्थित विद्रोहियों से बढ़ी हुई गोलीबारी का सामना कर रहा है. कहा जा रहा है कि उसकी सीमाओं पर रूस के 1,50,000 से ज्यादा सैनिक तैनात हैं.
सरकारी बलों और लुगांस्क और डोनेट्स्क जिलों के कुछ हिस्सों पर कब्जा करने वाले रूस समर्थित विद्रोहियों के बीच अग्रिम पंक्ति के करीब रात में गोलाबारी हुई.
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