प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने बुधवार को संयुक्त रूप से मासे शहर में भारत के नए वाणिज्य दूतावास का उद्घाटन किया. प्रधानमंत्री मोदी राष्ट्रपति मैक्रों के निमंत्रण पर फिलहाल फ्रांस के दौरे पर हैं. दोनों नेताओं ने बटन दबाकर संयुक्त रूप से मासे शहर में नए वाणिज्य दूतावास का उद्घाटन किया. इस मौके पर मौजूद भीड़ ने पूरे उत्साह के साथ खुशी जताई. इनमें से कई लोग भारत और फ्रांस दोनों के राष्ट्रीय ध्वज लेकर आए थे.
मासे में भारत के नए वाणिज्य दूतावास को बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है. भारत ने इस दूतावास को खोलने की घोषणा 2023 में मोदी के फ्रांस दौरे के दौरान की थी. यह दूतावास दक्षिणी फ्रांस में बसे भारतीय प्रवासी समुदाय को सेवाएं प्रदान करेगा. इससे लोगों को पेरिस जाकर कांसुलर कार्य करवाने की जरूरत नहीं पड़ेगी.
वाणिज्य दूतावास के उद्घाटन से पहले, मोदी और मैक्रों ने ऐतिहासिक माजारग्वेज कब्रिस्तान का दौरा किया और पहले विश्व युद्ध में सर्वोच्च बलिदान देने वाले भारतीय सैनिकों को श्रद्धांजलि दी. बाद में, दोनों नेताओं ने भीड़ में मौजूद कुछ लोगों से बातचीत भी की.
इस कब्रिस्तान में बड़ी संख्या में भारतीय सैनिकों की अंत्येष्टि की गई थी. राष्ट्रमंडल युद्ध कब्र आयोग (सीडब्ल्यूजीसी) इस कब्रिस्तान का रखरखाव करता है. फ्रांस की तीन दिवसीय यात्रा पर आए मोदी ने मंगलवार को राष्ट्रपति मैक्रों के साथ ‘एआई एक्शन' शिखर सम्मेलन की सह-अध्यक्षता की और व्यापार जगत के दिग्गजों को संबोधित किया. मोदी 10 फरवरी को पेरिस पहुंचे थे.
प्रथम विश्व युद्ध 1914-18 के दौरान, जबकि दूसरा विश्व युद्ध 1939-45 के दौरान हुआ था. सीडब्ल्यूजीसी की वेबसाइट के अनुसार, ‘‘इस कब्रिस्तान में 1914-18 के युद्ध में जान गंवाने वाले 1,487 और 1939-45 के युद्ध में बलिदान देने वाले 267 जवानों की कब्र हैं. 205 भारतीय जवानों का भी यहां अंतिम संस्कार किया गया था, जिनकी याद में कब्रिस्तान के पीछे एक स्मारक बनाया गया है. '' जुलाई 1925 में फील्ड मार्शल सर विलियम बर्डवुड ने माजारग्वेज भारतीय स्मारक का अनावरण किया था.