- पाकिस्तान के वित्त मंत्री ने जनसंख्या वृद्धि और जलवायु परिवर्तन को आर्थिक विकास की बड़ी बाधाएं बताया है
- पाक 3 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनने में असमर्थ क्योंकि जनसंख्या नियंत्रण में नहीं आ रही है- वित्त मंत्री
- पाकिस्तान की आबादी 25.1 करोड़ से अधिक है, जिसमें लगभग 45 प्रतिशत लोग गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन करते हैं
आतंकवाद की खेती करने वाले पाकिस्तान ने 3 ट्रिलियन डॉलर की इकनॉमी बनने का सपना देखा है. लेकिन उसके अपने वित्त मंत्री ने उस राह में पड़ने वालीं दो बड़ी बाधाएं बताई हैं. पाकिस्तानी अखबार डॉन की रिपोर्ट के अनुसार पाकिस्तान के वित्त मंत्री मुहम्मद औरंगजेब ने बुधवार, 22 अक्टूबर को कहा कि जनसंख्या के बिना कंट्रोल बढ़ते जाने और जलवायु परिवर्तन के कारण पाकिस्तान 3 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था नहीं बन पा रहा है.
एक न्यूज शो के इंटरव्यू में पाकिस्तान के वित्त मंत्री ने कहा, "मैं शुरू से ही स्पष्ट रहा हूं कि हमारे पास दो अस्तित्व संबंधी मुद्दे हैं क्योंकि अगर हम उनसे सही ढंग से नहीं निपटते हैं... तो दो कारण हैं जो हमें 3 ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बनने से रोक सकते हैं और वे हैं जलवायु परिवर्तन और जनसंख्या वृद्धि."
पाकिस्तान में जनसंख्या और जलवायु जोखिम का हाल
वर्ल्ड बैंक के आंकड़ों के अनुसार पाकिस्तान की आबादी 25.1 करोड़ से अधिक की है. यहां साल 2023 में जनसंख्या वृद्धि दर लगभग 2.55 प्रतिशत तक थी. वर्ल्ड बैंक की एक रिपोर्ट के अनुसार ही पाकिस्तान की लगभग 45 प्रतिशत आबादी गरीबी रेखा से नीचे रहती है. यानी यहां की लगभग आधी आबादी ही गरीब है.
यह तो बात हुई जनसंख्या की. अब जलवायु परिवर्तन की बात. डॉन की रिपोर्ट में बताया गया है कि वैश्विक जलवायु जोखिम सूचकांक 2025 के अनुसार, पाकिस्तान को 2022 में जलवायु परिवर्तन के प्रति सबसे संवेदनशील देश के रूप में स्थान दिया गया है. यानी जलवायु में कोई भी परिवर्तन पाकिस्तान को ही सबसे अधिक प्रभावित करेगा.