- पिछले 2 साल में पाकिस्तान से 5000 डॉक्टर, 11,000 इंजीनियर, 13000 से ज्यादा अकाउंटेंट्स जा चुके हैं
- 2011 से 2024 के बीच नर्सों के पलायन में 2,144% की अभूतपूर्व वृद्धि हुई है. 2025 में संख्या तेजी से बढ़ी है
- देश में रजिस्टर्ड 2.76 लाख रजिस्टर्ड इंजीनियरों में से लगभग 60 हजार बेरोजगार हैं क्योंकि विकास कार्य ठप हैं
आर्थिक तंगी और राजनीतिक अस्थिरता में घिरा पाकिस्तान एक और मोर्चे पर अपने सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है. देश के हुनरमंद युवा और पेशेवर लोग तेजी से पलायन कर रहे हैं. हाल ही में आई एक सरकारी रिपोर्ट ने पाकिस्तान सरकार और सेना प्रमुख आसिम मुनीर के दावों की पोल खोल कर रख दी है. आंकड़े बताते हैं कि पिछले 24 महीनों में पाकिस्तान अपने 5 हजार डॉक्टर, 11 हजार इंजीनियर और 13 हजार से ज्यादा अकाउंटेंट्स खो चुका है.
देश के हुनरमंदों का यह पलायन महज आंकड़ों तक सीमित नहीं है, इसने पाकिस्तान के फील्ड मार्शल असीम मुनीर की साख पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं. मुनीर ने पाकिस्तानी प्रतिभाओं के विदेशों में हो रहे पलायन को 'ब्रेन ड्रेन' मानने से इनकार कर दिया था और इसे 'ब्रेन गेन' करार दिया था. हालिया रिपोर्ट के बाद खुद पाकिस्तान के लोग सोशल मीडिया पर सवाल खड़े कर रहे हैं.
पलायन के चौंकाने वाले आंकड़े
पाकिस्तानी ब्यूरो ऑफ इमिग्रेशन एंड ओवरसीज एम्प्लॉयमेंट के आंकड़े बेहद चौंकाने वाले हैं. इसके मुताबिक, साल 2024 में कुल 7,27,381 पाकिस्तानियों ने विदेश में रोजगार के लिए रजिस्ट्रेशन कराया था. वहीं 2025 में नवंबर तक ही यह संख्या 6,87,246 तक पहुंच चुकी है. पिछले दो वर्षों में देश छोड़ने वाले पाकिस्तानियों की कुल संख्या 15 लाख को पार करने का अनुमान है.
हेल्थ सेक्टर: 2011 से 2024 के बीच नर्सों के पलायन में 2,144% की अभूतपूर्व वृद्धि देखी गई है. 2025 में इनकी संख्या बहुत तेजी से बढ़ी है. अधिकतर जर्मनी और रोमानिया जैसे देशों में जा रही हैं.
इंजीनियरिंग: पाकिस्तान इंजीनियरिंग काउंसिल (PEC) के चेयरमैन बताते हैं कि देश में रजिस्टर्ड 2.76 लाख रजिस्टर्ड इंजीनियरों में से लगभग 60 हजार बेरोजगार हैं क्योंकि विकास कार्य ठप पड़े हैं.
अन्य कामगारः पिछले 2 साल में 25 हजार इलेक्ट्रिशियन, 3 हजार टीचरों के अलावा 13 हजार स्किल्ड कृषि विशेषज्ञ विदेश का रुख कर चुके हैं.
इंटरनेट शटडाउन से नुकसान में वर्ल्ड लीडर
Top10VPN रिसर्च की एक रिपोर्ट में पाकिस्तान को इंटरनेट शटडाउन से होने वाले आर्थिक नुकसान में वर्ल्ड लीडर बताया गया है. इसने साल 2024 में इंटरनेट बंद होने से 1.62 अरब डॉलर (करीब 450 अरब पाकिस्तानी रुपये) का नुकसान होने का अनुमान लगाया है. रिपोर्ट के मुताबिक, दुनिया का चौथा सबसे बड़ा फ्रीलांसिंग हब होने के बावजूद पाकिस्तान में 9,735 घंटे तक इंटरनेट बाधित रहा, जिससे 8.29 करोड़ यूजर प्रभावित हुए.
पूर्व सीनेटर मुस्तफा नवाज खोखर कहते हैं कि पाकिस्तान में इंटरनेट शटडाउन के कारण 1.62 अरब डॉलर से अधिक का नुकसान हो चुका है और इसकी वजह से 23.7 लाख फ्रीलांसिंग जॉब खतरे में हैं.
सरकार ने हवाई अड्डों पर सख्ती बढ़ाई
हैरानी की बात ये है कि पाकिस्तान सरकार युवाओं के लिए देश में ही नौकरी का इंतजाम करने के बजाय नागरिकों को विदेश जाने से रोकने में जुट गई है. साल 2025 में 66 हजार से ज्यादा यात्रियों को पाकिस्तानी हवाई अड्डों से उतारा गया, जो पिछले साल से करीब दोगने हैं. इन्हें उतारने के पीछे स्मगलिंग और भिखारी रैकेट पर नकेल कसना बताया जा रहा है. खाड़ी और अन्य देशों से हजारों पाकिस्तानियों को भीख मांगने और अवैध घुसपैठ कराने के आरोपों में निर्वासित किया जा चुका है.
जानकारों का मानना है कि अगर ऐसे ही हालात रहे तो पाकिस्तान के पास अपनी बुनियादी सेवाओं को चलाने के लिए भी लायक लोग नहीं बचेंगे. हेल्थ सेक्टर की हालत यह है कि अधिकतर युवा पाकिस्तान के बाहर ही अपना भविष्य सुरक्षित देख रहे हैं.













