उत्तर पश्चिमी पाकिस्तान में एक सैन्य परिसर में मंगलवार शाम को विस्फोटकों से भरे दो वाहनों में विस्फोट होने से तीन बच्चों सहित 12 लोगों की मौत हो गई. साथ ही इस दर्जनों लोग घायल हुए हैं. अधिकारियों ने इस घटना के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि हमले की जिम्मेदारी एक आतंकवादी समूह ने ली है. यह हमला उस वक्त हुआ, जब लोग रमजान के पवित्र महीने में अपना उपवास खोल रहे थे. इस दौरान बड़े धमाके हुए और गोलीबारी भी हुई.
प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने "रमजान के पवित्र महीने के दौरान निर्दोष नागरिकों को निशाना बनाने वाले कायर आतंकवादियों" की निंदा की और कहा कि यह दया के लायक नहीं हैं.
खैबर पख्तूनख्वा के बन्नू जिले में हमला
यह हमला पाकिस्तान के अशांत खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के बन्नू जिले में हुआ. एक सुरक्षा अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर देर रात एएफपी को बताया कि मरने वालों की संख्या बढ़कर बारह हो गई है. इस हमले में मरने वालों में तीन बच्चे और दो महिलाएं शामिल हैं. हमले में 32 लोग घायल हुए हैं.
एक खुफिया अधिकारी ने पहले एएफपी को बताया था कि आत्मघाती बम विस्फोटों के बाद 12 आतंकवादियों ने परिसर पर हमला करने का प्रयास किया था और छह हमलावरों को मार गिराया गया था.
धमाकों से बने गड्ढे, 8 घर भी क्षतिग्रस्त
एक पुलिस अधिकारी ने कहा, "विस्फोटों से चार फुट के दो गड्ढे बन गए और उनकी तीव्रता के कारण इलाके के कम से कम आठ घर क्षतिग्रस्त हो गए."
हमले की जिम्मेदारी हाफ़िज़ गुल बहादुर नाम के एक गुट ने ली है, जिसने 2001 से अमेरिका के नेतृत्व वाले नाटो गठबंधन के खिलाफ युद्ध में अफगान तालिबान का सक्रिय रूप से समर्थन किया था.
समूह ने एक बयान में कहा, "हमारे लड़ाकों को एक महत्वपूर्ण लक्ष्य तक पहुंच मिल गई और उन्होंने नियंत्रण कर लिया."
पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने एक बयान में हमले की निंदा करते हुए इसे "जघन्य" बताया.