हमास ने नए बंधक समझौते को किया खारिज, इजरायली सैनिकों को गाजा से हटने की दी चेतावनी

इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के कार्यालय ने हमास के साथ संभावित समझौते पर चर्चा करने के लिए अमेरिका, इज़राइल, कतर और मिस्र की चार-तरफा बैठक की पुष्टि की है. उन्होंने इस वार्ता को रचनात्मक बताया है. हालांकि, कार्यालय की तरफ से कहा गया है कि अभी वार्ता जारी है, इसमें कुछ कमियां है, जिन पर विचार किया जा रहा है.

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हमास के एक वरिष्ठ अधिकारी ने गाजा में "पूर्ण और व्यापक युद्धविराम" की इच्छा जाहिर की है.

तेल अवीव: हमास ने इजराएल के नए बंधक समझौते को खारिज कर दिया है. हमास का कहना है कि गाजा से इजरायली सैनिकों के वापसी के बाद ही इस पर विचार किया जाएगा.  द टाइम्स ऑफ इज़राइल की एक रिपोर्ट में पता चला है कि हमास ने इजरायल के साथ बंधक समझौते के लिए प्रस्तावित ढांचे को खारिज कर दिया है, और कहा है कि अगर गाजा से सभी इजरायली सैनिकों की वापसी शामिल नहीं है तो वह किसी भी समझौते को स्वीकार नहीं करेगा..

पेरिस में बातचीत होने के बीच यह मामला प्रकाश में आया है. इजरायल ने पेरिस में आयोजित बातचीत में बंधकों की सुरक्षा और रिहाई की बात सुनिश्चित की थी, जिसे हमास द्वारा अस्वीकार कर दिया गया.

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द टाइम्स ऑफ़ इज़राइल की रिपोर्ट के अनुसार, हमास ने पॉपुलर फ्रंट फॉर द लिबरेशन ऑफ फिलिस्तीन के साथ मिलकर एक संयुक्त बयान जारी किया है. अपने बयान में हमास ने कहा है कि इजरायली सैनिकों को वापस जाना चाहिए. अब किसी तरह की हिंसा नहीं होनी चाहिए. हिंसा और बंधकों की रिहाई, दोनों काम एक साथ नहीं हो सकते हैं.

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इस मामले पर हमास के एक वरिष्ठ अधिकारी ने गाजा में "पूर्ण और व्यापक युद्धविराम" की इच्छा जाहिर की है. रिपोर्ट के मुताबिक, हमास ने आशंका जताई है कि मोसाद, अमेरिका, कतर और मिस्र के अधिकारियों के साथ बातचीत कर रहा है. यह एक योजनाबद्ध तरीके से हो रहा है.

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क्या है समझौता?

इजरायल की सरकार ने हमास से समझौता कर लिया है. टाइम्स ऑफ इज़राइल ने चैनल 12 समाचार का हवाला देते हुए बताया कि पहले चरण में 35-40 बंधकों के बदले लड़ाई में 45 दिनों के ठहराव (सीज़फायर) पर केंद्रित है.  इस समझौते में महिलाओं, बच्चों, बुजुर्गों और बीमारों जैसे कमजोर समूहों से लेकर सभी इजरायली बंधकों की रिहाई शामिल होगी. बंधकों की रिहाई की प्रक्रिया के दौरान हमास के खिलाफ इजरायल के हमले में "चरणबद्ध विराम" लगेगा. समझौते के अनुसार, इज़राइल गाजा में अधिक सहायता की भी अनुमति देगा और बहुत बड़ी संख्या में फिलिस्तीनी कैदियों को रिहा करेगा.

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कतर के प्रधान मंत्री मोहम्मद बिन अब्दुलरहमान अल थानी ने उम्मीद जताई है कि हमास और इजरायल के बीच शांति स्थापित होगी. उन्होंने आशा व्यक्त किया है कि हमास का नज़रिया अब बदल रहा है. वहीं रिपोर्ट के मुताबिक, इजरायली प्रधानमंत्री कार्यालय इश तरह की कोई आधिकारिक बात नहीं हुई है. हालांकि, पीएमओ इस बात से इंकार भी नहीं कर रहा है. इज़रायली अधिकारियों ने बताया कि इस मामले में वो ज्यादा सतर्क हैं. अभी और लंबा रास्ता तय करना है. 

कतर के प्रधान मंत्री मोहम्मद बिन अब्दुलरहमान अल थानी ने वाशिंगटन डीसी में अटलांटिक काउंसिल में कहा, "हम कुछ हफ्ते पहले की तुलना में बहुत बेहतर जगह पर हैं." उन्होंने कहा कि प्रस्ताल को भेज दिया गया है. उम्मीद है कि जल्द ही दोनों पक्षों के बीच शांति स्थापित होगी.

इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के कार्यालय ने हमास के साथ संभावित समझौते पर चर्चा करने के लिए अमेरिका, इज़राइल, कतर और मिस्र की चार-तरफा बैठक की पुष्टि की है. उन्होंने इस वार्ता को रचनात्मक बताया है. हालांकि, कार्यालय की तरफ से कहा गया है कि अभी वार्ता जारी है, इसमें कुछ कमियां है, जिन पर विचार किया जा रहा है.

ऐसा माना जाता है कि 7 अक्टूबर को हमास द्वारा अगवा किए गए 132 बंधक अभी भी गाजा में रखे गए हैं. हमास अपनी रिहाई के लिए शर्तों के रूप में युद्ध को समाप्त करने और आईडीएफ की वापसी की मांग करता है, जिसे इज़राइल ने अस्वीकार कर दिया है. यह युद्ध 7 अक्टूबर को तब भड़का, जब गाजा पट्टी से हमास के नेतृत्व वाले आतंकवादियों ने इज़राइल पर एक बड़ा हमला किया, जिसमें लगभग 1,200 लोग मारे गए, जिनमें ज्यादातर नागरिक थे.

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