'PM मोदी का जिनपिंग-पुतिन से हाथ मिलाना शर्मनाक'... ट्रंप के वफादार सलाहकार ने फिर लांघी सीमा

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के व्यापार सलाहकार पीटर नवारो ने कहा, "हमें उम्मीद है कि वह (पीएम मोदी) यह समझेंगे कि उन्हें रूस के साथ नहीं बल्कि हमारे साथ रहने की जरूरत है."

विज्ञापन
Read Time: 3 mins
फटाफट पढ़ें
Summary is AI-generated, newsroom-reviewed
  • ट्रंप के सलाहकार पीटर नवारो ने PM मोदी की व्लादिमीर पुतिन और शी जिनपिंग से हाथ मिलाने को शर्मनाक बताया है.
  • नवारो ने कहा है कि प्रधानमंत्री मोदी को रूस के बजाय अमेरिका के साथ रहने की आवश्यकता है.
  • नवारो ने भारत पर रूस से तेल खरीदने और उससे प्राप्त पैसे से यूक्रेन युद्ध को समर्थन देने का आरोप लगाया है.
क्या हमारी AI समरी आपके लिए उपयोगी रही?
हमें बताएं।

न अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप मान रहे हैं और न उनके व्यापार सलाहकार पीटर नवारो. ऐसा लगता है कि मानो दोनों ने हद पार करने की कसम खा रखी हो. पीटर नवारो ने रूस के साथ भारत के व्यापार संबंधों की आलोचना को और तेज करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) शिखर सम्मेलन में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ मुलाकात को "शर्मनाक" बताया है.

उन्होंने कहा, "प्रधानमंत्री मोदी को शी जिनपिंग और पुतिन के साथ जाते देखना शर्म की बात है (It is a shame to see [PM] Modi getting in bed with Xi Jinping and Putin). मुझे यकीन नहीं है कि वह क्या सोच रहे हैं. हमें उम्मीद है कि वह यह समझेंगे कि उन्हें रूस के साथ नहीं बल्कि हमारे साथ रहने की जरूरत है."

नवारो की यह टिप्पणी प्रधानमंत्री मोदी की चीन यात्रा के एक दिन बाद आई. पीएम मोदी ने अपनी चीन यात्रा पर शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के शिखर सम्मेलन में भाग लिया और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के साथ द्विपक्षीय मुलाकात की.

जब से राष्ट्रपति ट्रंप ने भारत पर अपना टैरिफ बम गिराया है, व्हाइट हाउस के व्यापार सलाहकार ने बार-बार नई दिल्ली के मास्को के साथ कच्चे तेल के व्यापार को जारी रखने की आलोचना की है. उन्होंने आरोप लगाया है कि तेल खरीद से मिले पैसा का इस्तेमाल रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन यूक्रेन में जंग लड़ने के लिए कर रहे हैं. जबकि सच्चाई यह है कि यह एक ऐसा सैन्य संघर्ष है जिसको लेकर ट्रंप ने कहा था कि राष्ट्रपति बनने के बाद कुछ ही घंटे में खत्म कर देंगे. लेकिन 6 महीने बीत जाने के बावजूद वे इसे समाप्त करने में विफल रहे हैं.

अपने पहले के बयानों में नवारो ने भारत को "टैरिफ का महाराजा" कहा था. उन्होंने रूस-यूक्रेन जंग को मोदी का युद्ध कहा था, उन्होंने भारत पर रूस के लिए मनी लॉन्ड्रिंग करने का आरोप लगाया था. उन्होंने तो यह भी कह दिया कि भारत रूस से जो तेल खरीद रहा है उससे केवल ब्राह्मण (अमेरिका के संदर्भ में अभिजात्य वर्ग) फायदा कमा रहे हैं.

यह भी पढ़ें: ट्रंप के वफादार, टैरिफ से प्यार, जेल की हवा… रूसी तेल में ‘ब्राह्मण' एंगल खोजने वाले नवारो की कहानी

Featured Video Of The Day
Nagaland News: नागालैंड में शैतान की पूजा? विधायक की चिट्ठी में क्या? | Kachehri | Shubhankar Mishra
Topics mentioned in this article