जर्मनी को पूरी तरह बंद नहीं किया गया है. घर से काम करने के लिए कहा गया है लेकिन पब्लिक ट्रांसपोर्ट चालू है. ट्रेन, ट्राम और बस की संख्या काफी कम कर दी गई है. जर्मनी के कुछ राज्यों में तालाबंदी हुई है मगर राष्ट्रीय स्तर पर तालाबंदी नहीं हुई है. जनजीवन चल रहा है मगर कड़े अंकुशों के साथ. दो से ज्यादा लोग एक साथ नहीं चल सकते हैं. शारीरिक दूरी का सख्ती से पालन हो रहा है. भारत और जर्मनी के बीच तुलना का अब कोई मतलब नहीं है. लेकिन दो देश एक ही बीमारी से कैसे लड़ रहे हैं यह जानना चाहिए. दुनिया की बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में जर्मनी का स्थान चौथा है, भारत का पांचवा है. इस वक्त कोई नहीं कह रहा है कि पांचवी बड़ी अर्थव्यवस्था किस तरह से इस बीमारी का सामना कर रही है. लेकिन हम टेस्ट की बात तो कर ही सकते हैं. यह एक पैमाना है कि बीमारी से कैसे लड़ा जा रहा है. जर्मनी एक सप्ताह में 5 लाख टेस्ट कर रहा है. इस वक्त जर्मनी हर दिन 70,000 टेस्ट कर रहा है. 1 अप्रैल से 1 लाख हर रोज़ टेस्ट करने की योजना है.