हरीश रावत की 'माल्टा-अमरूद' डिप्लोमेसी, पार्टी में दिया संदेश, 'हम सब एक साथ'

पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि, "पहाड़ी नींबू का मूल्य ₹20 प्रति किलो होना चाहिए तो वहीं माल्टा का समर्थन मूल्य ₹25 प्रति किलो होना चाहिए. कम मूल्य रखना, ये किसानों का अपमान है.

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उत्तराखंड की राजनीति में हरीश रावत की पहाड़ी उत्पाद,फल,और सब्जियों की पार्टी एक अलग मुकाम रखती है. अक्सर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व सीएम हरीश रावत अक्सर लोगों को पार्टी देते हैं. ऐसी ही पार्टी हरीश रावत ने देहरादून में माल्टा और अमरूद पार्टी की रखी. इस आयोजन में कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष गणेश गोदियाल और उत्तराखंड चुनाव प्रबंधन समिति के अध्यक्ष और पूर्व कैबिनेट मंत्री हरक सिंह रावत के साथ कई कांग्रेस के नेता भी मौजूद थे.

पार्टी के जरिए दिया खास संदेश

यूं तो हरीश रावत जब भी कोई पहाड़ी उत्पाद या फलों की पार्टी का आयोजन रखते हैं, तो उसके पीछे एक राजनीतिक भावना जरूर रहती है. अक्सर हरीश रावत अपने इस तरह के आयोजनों से उत्तराखंड की राजनीति में कुछ ना कुछ भविष्य का दांव जरूर खेलते हैं. वैसे भी उत्तराखंड में 2027 में होने वाले विधानसभा चुनावों को लेकर भाजपा और कांग्रेस ने अपनी अपनी तैयारियां शुरू कर दी हैं. कांग्रेस भी लगातार अपनी तैयारी में जुटी हुई है. हालांकि, हरीश रावत की पार्टी में 14 दिसंबर को दिल्ली में होने वाली रैली में कांग्रेस के नेताओं और कार्यकर्ताओं को आने का आह्वान किया गया हो, लेकिन इस माल्टा और अमरुद पार्टी में हरीश रावत के बेटे आनंद रावत भी मंच पर बिल्कुल सक्रिय दिखाई दिए. दूसरी तरफ कांग्रेस का एक संदेश भी था कि, प्रदेश अध्यक्ष, चुनाव प्रबंधन समिति के अध्यक्ष और हरीश रावत एक साथ हैं.

वहीं, हरीश रावत ने मंच से उत्तराखंड सरकार को भी घेरा. हरीश रावत ने मंच से पहाड़ी नींबू और माल्ट का समर्थन मूल्य को लेकर सरकार पर आरोप लगाया है कि, पहाड़ों से अगर पलायन रोकना है और किसानों को समृद्ध करना है तो ऐसे में पहाड़ी नींबू और माल्टा का समर्थन मूल्य बढ़ाना होगा. हरीश रावत ने मंच से कहा कि, "पहाड़ी नींबू का समर्थन मूल्य सरकार ने ₹7 प्रति किलो रखा है और माल्टा का प्रति किलो समर्थन मूल्य ₹10 रखा है. यह पीला सोना है, जो किसानों कि आय को बढ़ा सकता है.

कांग्रेस को दिया नारा

पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने कहा कि, "पहाड़ी नींबू का मूल्य ₹20 प्रति किलो होना चाहिए तो वहीं माल्टा का समर्थन मूल्य ₹25 प्रति किलो होना चाहिए. कम मूल्य रखना, ये किसानों का अपमान है. वहीं, हरीश रावत ने कांग्रेस को एक नारा भी दिया. हरीश रावत ने कहा कि, "7 रुपये किलो नीबू में दम नही, 10 रुपये माल्टा में दम नही ,20 रुपये नींबू और 25 रुपये माल्टा किसी से कम नही". 

वहीं, हरीश रावत की अमरूद और माल्टा पार्टी आयोजन में करीब 8 क्विंटल अमरूद और 20 क्विंटल माल्टा आया था. माल्टा गैरसैण, अल्मोड़ा ,पिथौरागढ़ ,बागेश्वर, गोपेश्वर जैसे क्षेत्र से पार्टी में पहुंचा था, तो वहीं, अमरूद भी उत्तराखंड के हरिद्वार क्षेत्र से आया था. इस अमरूद और माल्टा पार्टी आयोजन में लोगों ने खूब लुफ्त उठाया. इस दौरान माल्टा कौन एक मिनट में सबसे ज्यादा खाता है, उसकी भी एक प्रतियोगिता रखी गई थी.

पहाड़ी उत्पादों का उत्पादन बढ़ाने पर होना चाहिए जोर

हरीश रावत की माल्टा और अमरूद पार्टी आयोजन पर राजनीतिक विशेषज्ञ राजीव नयन बहुगुणा कहते हैं कि, "हरीश रावत एक राजनीतिक व्यक्ति है और उनकी पार्टी में हमेशा राजनीतिक महत्वाकांक्षा छिपी रहती है. यह सच है कि हरीश रावत हमेशा अपनी पहाड़ी उत्पादों, फलों और सब्जियां की पार्टियों का आयोजन करते रहे हैं, लेकिन पहाड़ी उत्पादों का मार्केट बहुत बड़ा हो रहा है. फिर भी इसका उत्पादन बेहद कम है और इसकी वजह पहाड़ों पर लोग अपने गांव छोड़ रहे हैं. खेती नहीं हो रही है, जिसकी वजह से पहाड़ी उत्पादों का उत्पादन नहीं हो पा रहा है. यानी डिमांड है लेकिन उसे डिमांड को पूरा करने में कामयाबी नहीं मिल पा रही है. इसके लिए व्यापक बड़ी योजना बनानी चहिए."    

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