प्रयागराज में फिर बाढ़ की दस्तक, गंगा-यमुना के उफान से निचले इलाके जलमग्न

प्रयागराज के छोटा बघाड़ा, सलोरी, गंगानगर, बेली कछार, बेली उपरहार, राजापुर, गंगानगर, नेवादा में बाढ़ का पानी पहुंचना शुरू हो गया है, निचले इलाके की बस्तियों तक भी पानी पहुंच गया है.

विज्ञापन
Read Time: 2 mins
प्रयागराज:

पहाड़ी इलाकों में हो रही भारी बारिश का असर मैदानी इलाकों में दिख रहा है. पंजाब, मध्य प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा, उत्तराखंड समेत उत्तर प्रदेश के अलग-अलग हिस्सों में बहने वाली नदियां अभी भी उफान पर है. कई बैराज से लाखों क्यूसेक पानी छोड़े जाने के बाद अब संगम नगरी प्रयागराज में पांचवी बार बाढ़ ने दस्तक दे दी है. पिछले चार दिनों से गंगा और यमुना नदी उफान पर है. दोनों नदियों में तेजी से बढ़ते जलस्तर की वजह से एक बार फिर तटवर्ती और निचले इलाके बाढ़ की चपेट में आ गए है.

यमुना नदी के पानी की जद में कई इलाके

प्रयाग आने वाली गंगा और यमुना दोनों नदियों में पानी बढ़ने की वजह से कई इलाके अब इसकी जद में आ चुके है. दोनों ही नदियां खतरे के निशान से करीब सवा मीटर नीचे बह रही है. लगातार बढ़ रहे जलस्तर की वजह से हजारों लोग प्रभावित हो रहे हैं. प्रयागराज के छोटा बघाड़ा, सलोरी, गंगानगर, बेली कछार, बेली उपरहार, राजापुर, गंगानगर, नेवादा में बाढ़ का पानी पहुंचना शुरू हो गया है, निचले इलाके की बस्तियों तक भी पानी पहुंच गया है. नदियों के पास स्थित कछार के लोगों को बाढ़ की आशंका फिर सताने लगी है.

एनडीआरएफ, एसडीआरएफ अलर्ट मोड पर

बाढ़ राहत शिविर तैयार कर दिए है, इसके अलावा करीब 90 बाढ़ राहत चौकियां स्थापित की गई है जो हर समय निगरानी कर रही है. बाढ़ के मद्देनजर जिला प्रशासन की ओर से अलर्ट घोषित कर दिया गया है. अभी माना जा रहा है कि दो दिन तक पानी और बढ़ेगा. प्रयागराज में दोनों नदियों का खतरे का निशान 84.743 मीटर है. अभी यमुना और गंगा नदी दोनों ही 83 मीटर के ऊपर बह रही है. अगर दोनों नदियां खतरे के निशान को पार करती है तो लोगों की परेशानी बढ़ना तय है. एनडीआरएफ और एसडीआरएफ भी अलर्ट मोड पर है.

Featured Video Of The Day
Maharashtra Politics: महाराष्ट्र में महायुति में बढ़ा टकराव! Eknath Shinde के बयान से हलचल तेज
Topics mentioned in this article