सरकारी जमीन पर पौधे लगाने से शुरू हुआ विवाद, 'महापंचायत' के बाद धरने से बढ़ा तनाव

इस मामले में पुलिस प्रशासन से वार्ता करने वाले प्रतिनिधि मंडल की अगवानी करने वाले भोपालगढ़ विधायक आरएलपी प्रदेशाध्यक्ष पुखराज गर्ग ने कहा कि पूरे मामले में एसआईटी गठित करने की मांग की गई थी. अगर समय रहते मांगे पूरी नहीं होती हैं तो फिर से धरना दिया जायेगा.

विज्ञापन
Read Time: 27 mins
ग्रामीणों के एक प्रतिनिधि मंडल व पुलिस प्रशासन की बीच दो घंटे चली वार्ता पर देर रात सहमति बनी और धरना समाप्त हुआ.
राजस्थान:

जोधपुर के केरु पंचायत समिति के पूनिया की प्याऊ क्षेत्र में सरकारी जमीन पर पौधे लगाने से दो पक्षों के बीच शुरू हुए विवाद में रविवार देर रात एक नया मोड़ आया. जहां एक पक्ष की ओर से रविवार शाम अरना झरना में आयोजित की गई 'महापंचायत' के बाद देर रात सैकड़ों की संख्या में ग्रामीणों ने सौ से अधिक वाहनों के साथ जिला कलेक्ट्रेट कार्यालय की ओर कूच कर दिया.  सूचना मिलने पुलिस ने भारी पुलिस लवाजमे के सभी ग्रामीणों को प्रतापनगर कायलाना रोड़ पर ही बेरीगेट्स लगा कर रोक लिया.

कलेक्ट्रेट परिसर में भारी सुरक्षा बल तैनात

जिसके बाद सभी ग्रामीणों ने पुलिस से तनातनी के बीच वहीं महापड़ाव डाल दिया. जहां भोपालगढ़ विधायक व आरएलपी नेता पुखराज गर्ग व केरु प्रधान अनुश्री के एक प्रतिनिधि मंडल की पुलिस प्रशासन के साथ दो घंटे तक प्रतापनगर थाने में वार्ता चली. इस दौरान विभिन्न मांगों पर सहमति बनने के बाद महापड़ाव समाप्त हुआ. पुलिस प्रशासन ने एहतियातन के तौर पर कलेक्ट्रेट परिसर पर भी भारी सुरक्षा बल तैनात कर दिया गया.

सरकारी जमीन पर पौधे लगाने की बात से बढ़ा विवाद

जानकारी के अनुसार, केरू पंचायत समिति के पुनिया की प्याऊ क्षेत्र में सरकारी जमीन पर पौधे लगाने से दो पक्षों में काफ़ी दिनों से विवाद चला आ रहा था.जिसके बाद सरकारी जमीन पर एक पक्ष की ओर से पौधे लगाने के साथ ही उद्यान का बोर्ड लगाया गया.जिसके बाद दूसरे पक्ष ने विरोध करना शुरू कर दिया. बीते माह 14 जून को दूसरे पक्ष के लोगों ने जोधपुर विकास प्राधिकरण(जेडीए) के बाहर धरना देकर अतिक्रमण हटाने की मांग की. जेडीए की टीम जब अतिक्रमण हटाने के लिए पहुँची तो पहले पक्ष की ओर से कार्यवाही का विरोध किया गया.जिसके बाद जेडीए को बिना कार्यवाही किये बेरंग लौटना पड़ा.

Advertisement

असामाजिक तत्वों ने सरकारी जमीन पर लगे पौधे उखाड़े

इसी बीच दोनों पक्षों के बीच सहमति के लिए भी कई प्रयास किए गए लेकिन असफल रहे. 29 जून की रात असामाजिक तत्वों द्वारा सरकारी जमीन पर लगे पौधे उखाड़ दिए गए. जिसकी सूचना मिलने पर पहले पक्ष ने घटना का विरोध किया व अगले दिन 30 जून को सरकारी जमीन में लगे पौधों की सुरक्षा के लिए लगाए गए ट्री गार्ड हटाने की बात पर दोनों पक्ष आमने-सामने भीड़ गए. यह विवाद इतना बढ़ा कि दोनों पक्षो के बीच पथराव होने शुरू हो गये.

Advertisement

यह मामला  इतना बढ़ गया कि पुलिस को भीड़ नियंत्रित करने के लिए आंसू गैस के गोले तक छोड़ने पड़े. इसमें दोनों पक्षों के करीब 30 से 35 लोग घायल हो गए साथ ही बीच बचाव कर रहे पुलिसकर्मियों को भी हल्की चोटें पहुंची. इसके बाद सुरक्षा की दृष्टि से क्षेत्र में अस्थाई चौकी लगाई गई और मामला नियंत्रण आया. प्रशासन द्वारा बाद मे सरकारी जमीन से ट्री गार्ड हटाने और पौधे उखाड़ने के मामले भी दर्ज करवाया गए.

Advertisement

'महापंचायत' के बाद 'महापड़ाव' डालने कलेक्ट्रेट की ओर किया कूच

पुनियों की प्याऊ से जुड़े इस मामले में रविवार देर रात एक नया मोड़ आ गया. दरअसल रविवार को एक पक्ष की ओर से अरना-झरना में महापंचायत की जा रही थी. महापंचायत में जिला कलेक्ट्रेट कार्यालय के घेराव कर महापड़ाव डालने का निर्णय लिया गया था. जहां सभी लोग सैंकड़ो की संख्या में ट्रैक्टर टोलियों व वाहनों पर सवार होकर जोधपुर के लिए रवाना हुए. मामले की पुलिस को मिलने पर एक बार पुलिस प्रशासन में हड़कंप मच गया.

Advertisement

जहां आनन-फानन में पुलिस प्रशासन ने प्रतापनगर कायलाना रोड पर ही भारी पुलिस लवाजमे के साथ बेरीगेट्स लगा पुलिस जाब्ता तैनात कर दिया. जहां एक बार स्थिति तनाव पूर्ण हो गई थीं. इसी बीच पुलिस और ग्रामीणों में तनातनी के बढ़ने से ग्रामीणों ने वहीं मुख्य सड़क पर धरना देकर बैठ गए. जिसके बाद ग्रामीणों के एक प्रतिनिधि मंडल व पुलिस प्रशासन की बीच दो घंटे चली वार्ता पर देर रात सहमति बनी और धरना समाप्त हुआ.

डीसीपी ने एसआईटी का गठन करने की कही बात

देर रात ग्रामीणों को ओर से दिए गए धरने के बाद एक पक्ष के प्रतिनिधि मंडल से देर रात तक चली वार्ता पर सहमति बनी. डीसीपी वेस्ट गौरव यादव ने कहा कि बीते दिनों पूनियों की प्याऊ मैं जो घटनाक्रम हुआ था. जिसको लेकर एक प्रतिनिधिमंडल आया था. जिसकी मुख्य डिमांड थी कि निष्पक्ष और त्वरित कार्रवाई हो. इस मामले में विभिन्न पहलुओं पर गौर किया गया और हमने उनको विश्वास दिलाया कि इस मामले में निष्पक्ष जांच और त्वरित कार्यवाही की जाएगी.

इसके साथ ही उनकी मांग थी कि एक एसआईटी का गठन हो. जिसे ध्यान में रखते हुए एक आईओ के साथ ही उनके अधीन रहने वाले तीन और आईओ की एक एसआईटी गठित की गई है, जहां प्रतिनिधि मंडल के साथ सफल वार्ता हुई है और संभवतः धरना समाप्त हो गया.

समय पर मांग पूरी नही हुई तो फिर देंगे धरना: विधायक

इस मामले में पुलिस प्रशासन से वार्ता करने वाले प्रतिनिधि मंडल की अगवानी करने वाले भोपालगढ़ विधायक आरएलपी प्रदेशाध्यक्ष पुखराज गर्ग कहा कि पूरे मामले में एसआईटी गठित करने के साथ ही मांग की गई थी. पूनिया की प्याऊ  विवाद मामले में समाज के कई लोगों की बाइक को पुलिस ने सीज कर दिया था, जिन्हें छोड़ने पर सहमति भी बनी है.

इसके साथ ही पौधे उखाड़ने के मामले में जो झूठे मुकदमे किए गए उसमें निष्पक्ष जांच करने सहित अन्य बिंदुओं पर प्रशासन ने सकारात्मक आश्वासन दिया है.प्रशासन ने  7 से 10 दिन का समय मांगा है, अगर टाइम बॉन्ड समय में यह मांगे पूरी नहीं होती हैं तो फिर से धरना दिया जायेगा.

Featured Video Of The Day
Zaheer Khan ने Viral Bowling Girl Sushila Meena के Video पर रियेक्ट करते हुए जमकर तारीफ की
Topics mentioned in this article