भारत को टोक्यो ओलंपिक (Tokyo Olympics) में महिलाओं की वेटलिफ्टिंग में रजत पदक दिलाने वालीं वेटलिफ्टर मीराबाई चानू (Mirabai Chanu) भारत पहुंच गईं है. अपने देश पहुंचने पर उनके सम्मान का दौर जारी है. ऐसे में रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने मीराबाई चानू के लिए पुरस्कार की घोषणा की है. भारत के रेल मंत्री ने ट्वीट कर उनकी तारीफ की है और साथ ही उन्हें 2 करोड़ रुपये और प्रमोशन देने की भी घोषणा की है. रेल मंत्री ने अपने ट्वीट में कहा है कि उन्होंने अपने टैलेंट और हार्ड वर्क से करोड़ों भारतीयों को प्रेरित करने का काम किया है. टोक्यो में भारत को मेडल जीताने वाली मीरा बाई ने अपनी इस सफलता का श्रेय भारत के पीएम नरेंद्र मोदी और खेल मंत्री को दिया है. मीराबाई ने कहा कि, मैं प्रधानमंत्री और खेल मंत्री को शुक्रिया बोलना चाहूंगी. उन्होंने मुझे बहुत कम समय में प्रैक्टिस के लिए अमेरिका भेजा था.
मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने सोमवार को घोषणा की कि तोक्यो ओलंपिक में रजत पदक जीतने वाली भारोत्तोलक मीराबाई चानू को राज्य पुलिस विभाग में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक के रूप में नियुक्त किया जाएगा. मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार उन्हें एक करोड़ रुपये का इनाम भी देगी. सिंह ने कहा कि 49 किलोग्राम वर्ग में रजत पदक जीतने वाली इस ओलंपियन के पास अब अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (खेल) का पद होगा. चानू, सुशीला और दिग्गज मुक्केबाज मैरीकॉम सहित मणिपुर के कम से कम पांच खिलाड़ी मौजूदा टोक्यो ओलंपिक में देश का प्रतिनिधित्व कर रही हैं.
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मीराबाई के जज्जे को सलाम
इम्फाल से लगभग 20 किमी दूर नोंगपोक काकजिंग गांव की रहने वाले मीराबाई छह भाई-बहनों में सबसे छोटी हैं. उनका बचपन पास की पहाड़ियों में लकड़ियां काटते और एकत्रित करते तथा दूसरे के पाउडर के डब्बे में पास के तालाब से पानी लाते हुए बीता. मीराबाई के जज्बे का अंदाजा इस बात से लगता है कि एक बार जब उनका भाई लकड़ियां नहीं उठा पाया तो वह 12 साल की उम्र में दो किलोमीटर चलकर लकड़ियां उठाकर लाई.