Is 6 Hours of Sleep Enough: आज की भागदौड़ भरी जिंदगी में नींद को अक्सर लोग सबसे पहले नजरअंदाज कर देते हैं. देर रात तक मोबाइल चलाना, काम का दबाव या तनाव, इन सबका असर हमारी नींद पर पड़ता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि अगर आप लगातार एक हफ्ते तक रोज 6 घंटे से कम सोते हैं, तो इसका आपकी बॉडी पर बेहद खराब असर पड़ सकता है? इसे लेकर न्यूट्रिशनिस्ट और लाइफस्टाइल फिजिशियन आनंद पंजाबी ने अपने इंस्टाग्राम हैंडल पर एक वीडियो शेयर किया है. आइए जानते हैं इस वीडियो में वे क्या कहते हैं.
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6 घंटे से कम सोने पर क्या होता है?
लाइफस्टाइल फिजिशियन बताते हैं, अगर कोई व्यक्ति लगातार 6 घंटों से कम सोता है, तो उसका वजन तेजी से बढ़ सकता है, भले ही उसने अपनी डाइट या एक्सरसाइज रूटीन में कोई बदलाव न किया हो. इसकी सबसे बड़ी वजह शरीर में हार्मोनल बदलाव हैं.
कम सोने से सबसे पहले भूख को कंट्रोल करने वाला हार्मोन घ्रेलिन बढ़ जाता है. यह हार्मोन भूख बढ़ाने का काम करता है. जब घ्रेलिन ज्यादा हो जाता है, तो व्यक्ति को बार-बार खाने की इच्छा होती है और ओवरईटिंग की आदत बन जाती है. वहीं, दूसरी तरफ, लैप्टिन नाम का हार्मोन कम हो जाता है. लैप्टिन हमें पेट भरे होने का संकेत देता है. इसकी कमी से हमें संतुष्टि महसूस नहीं होती और हम जरूरत से ज्यादा खाने लगते हैं.
इसके अलावा, कम नींद लेने से शरीर में स्ट्रेस हार्मोन कोर्टिसोल का स्तर बढ़ जाता है. ज्यादा कोर्टिसोल पेट के आसपास फैट जमा करने में मदद करता है, जिससे मोटापा बढ़ता है. साथ ही, नींद की कमी से इंसुलिन सेंसिटिविटी भी प्रभावित होती है, जिससे शरीर शुगर को ठीक से इस्तेमाल नहीं कर पाता और वजन बढ़ने का खतरा बढ़ जाता है. नींद पूरी न होने का असर दिमाग पर भी साफ दिखता है. व्यक्ति हर समय थका हुआ, कमजोर और चिड़चिड़ा महसूस करता है. ऐसे में मीठा, तला-भुना और जंक फूड खाने की क्रेविंग बढ़ जाती है, जो वजन बढ़ाने का एक और बड़ा कारण बनती है.
यानी अगर आप अपना वजन कंट्रोल में रखना चाहते हैं और खुद को फिट-एनर्जेटिक महसूस करना चाहते हैं, तो नींद को अपनी प्राथमिकता बनाना जरूरी है. रोज कम से कम 7 घंटे की अच्छी नींद लेने की आदत डालें. समय पर सोना, मोबाइल से दूरी बनाना और एक फिक्स्ड स्लीप रूटीन अपनाना आपकी सेहत के लिए बेहद फायदेमंद साबित हो सकता है. अच्छी नींद सिर्फ आराम नहीं, बल्कि अच्छी सेहत की मजबूत नींव है.
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.