क्या आप भी करते हैं अपने बच्चे की जरूरत से ज्यादा तारीफ, जानते हैं इसका रिजल्ट?

बच्चे की प्रशंसा के साथ अलोचना करना भी उतना जरूरी है. नहीं तो बच्चा ओवरकॉन्फिडेंस में आ जाता है. जिसके कारण वो अपने आपको परफेक्ट समझने लगता है और अपनी अच्छी चीजों को और बेहतर करने की बजाय ठहर जाता है.

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बहुत ज्यादा तारीफ करने के कारण बच्चों पर हमेशा उपलब्धि हासिल करने का दबाव पड़ने लगता है.

Parenting tips :  एक बच्चा भविष्य में कैसा इंसान बनेगा ये माता-पिता की परवरिश पर निर्भर करता है. क्योंकि एक बच्चे को आकार देने का काम अभिभावक का ही होता है. इसलिए माता के रूप में बच्चे के पालन पोषण में छोटी से छोटी बातों का ध्यान रखना पड़ता है, क्योंकि जरा सी गलती बच्चे को गलत दिशा में ले जा सकती है. कुछ माता-पिता अपने बच्चे की बात-बात पर तारीफ करने लगते हैं, ये सोचकर की इससे बच्चे का मनोबल बढ़ेगा जबकि ये तरीका गलत है. बच्चे की हमेशा प्रशंसा करना भी उसकी ग्रोथ में रुकावट बन सकती है. 

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बच्चे की प्रशंसा के साथ अलोचना करना भी उतना ही जरूरी है. नहीं तो बच्चा ओवरकॉन्फिडेंस में आ जाता है. जिसके कारण वो अपने आपको परफेक्ट समझने लगता है और अपनी अच्छी चीजों को और बेहतर करने की बजाय वहीं ठहर जाता है. इसके अलावा भी कई और नुकसान हो सकते हैं जरूरत से ज्यादा तारीफ करने के जिसके बारे में हम आपको आगे आर्टिकल में बता रहे हैं...

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जरूरत से ज्यादा बच्चे की तारीफ का नुकसान

  1. कुछ पेरेंट्स तो ऐसे भी होते हैं, जो अपने बच्चे की झूठी तारीफ भी कर देते हैं, जिसके कारण बच्चा अपनी स्किल्स पर काम करना बंद कर देता है. इससे उसकी सीखने की क्षमता कम होने लगती है. जो कि उसकी ग्रोथ के लिए अच्छी बात नहीं है.
  2. वहीं, अगर आप हर समय बच्चे की तारीफ करने लगेंगे तो फिर जब आप उसकी वास्तविक प्रशंसा करेंगे तो उसकी खुशी सामान्य होगी. उसे कुछ खास महसूस नहीं होगा. क्योंकि आप उसकी पहले इतनी तारीफ कर चुके हैं कि उसे ज्यादा कुछ फर्क नहीं पड़ता है. 
  3. बहुत ज्यादा तारीफ करने के कारण बच्चों पर हमेशा उपलब्धि हासिल करने का दबाव पड़ने लगता है. उनके मन में यह ख्याल आने लगता है कि वो अच्छा कर पाएंगे या नहीं. एक समय के बाद वो नर्वस हो जाते हैं. इसलिए तारीफ बहुत सोच समझकर करें.
  4. जब आप बच्चे के सामने ही उसे किसी चीज में बहुत परफेक्ट, बहुत अच्छा बताते हैं, खासकर क्वालिटीज के मामले में, तो उसमें ये ओवर-कॉन्फिडेंस आ जाता है जिसके कारण वो अगर थोड़ी गड़बड़ भी कर देगा तो वो कभी मानेगा नहीं. वो खुद की आलोचना नहीं सुन पाएगा.

अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.

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