दफ्तर में तालाबंदी, पुलिस से हाथापाई... आजादी के 78 साल बाद भी सड़क नहीं बनने पर उग्र हुए ग्रामीण

ताला खुलवाने पहुंचे तोपचांची थाना प्रभारी डोमन रजक से ग्रामीणों की नोंकझोंक हो गई और देखते ही देखते थाना प्रभारी से लोगों ने हाथापाई शुरू कर दी.

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रांची:

आजादी के 78 साल बाद भी गांव में सड़क नहीं बनने से नाराज तोपचांची के ग्रामीणों ने जमकर हंगामा किया. सैकड़ों की संख्या में ग्रामीण तोपचांची प्रखंड कार्यालय पहुंच गए और दफ्तर में ताला जड़ दिया. सड़क नहीं बनाए जाने के विरोध में लोगों ने सांसद चंद्रप्रकाश, स्थानीय विधायक मथुरा माहतो और निर्दलीय विधायक जयराम माहतो के खिलाफ नारे लगाए.

प्रदर्शन और तालाबंदी की वजह से लगभग तीन घंटे तक प्रखंड पदाधिकारी, अंचलाधिकारी और कर्मचारी सहित अन्य ग्रामीण दफ्तर के अंदर ही फंसे रहे. घटना की खबर मिलते ही थाना प्रभारी दल बल के साथ मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों को शांत कराने का प्रयास किया, लेकिन ग्रामीण कुछ भी समझने को तैयार नहीं हुए और पुलिस से ही उलझ गए.

इसी दौरान तोपचांची थाना प्रभारी डोमन रजक के साथ महिलाओं ने हाथापाई शुरू कर दी. हालांकि कुछ बुद्धिजीवी लोगों ने बीच बचाव कर मामले को शांत कराया.

क्या है पूरा मामला?

दरअसल तोपचांची प्रखंड का पिपरातांड गांव मुख्य सड़क से जुड़ा नहीं है. जिस कारण यह गांव विकास से कोसों दूर है. यहां के ग्रामीण सड़क निर्माण को लेकर पिछले 40 दिनों से प्रखंड कार्यालय के पास धरने पर बैठे थे, लेकिन स्थानीय प्रशासन ने ग्रामीणों की मांगों पर कोई ध्यान नहीं दिया. लिहाजा उन्होंने आक्रोशित होकर प्रखंड कार्यालय में ताला जड़ दिया. 

इस दौरान ताला खुलवाने पहुंचे तोपचांची थाना प्रभारी डोमन रजक से ग्रामीणों की नोंकझोंक हो गई और देखते ही देखते थाना प्रभारी से लोगों ने हाथापाई शुरू कर दी. कुछ लोगों ने बीच बचाव करते हुए थाना प्रभारी को छुड़ाया और प्रखंड कार्यालय का ताला खोला गया.

बाद में ग्रामीणों और तोपचांची प्रखंड विकास पदाधिकारी एजाज अहमद के बीच वार्ता हुई और जल्द ही ग्रामीण सड़क को बनाने पर सहमति बनी. बीडीओ एजाज अहमद ने माना कि आजादी के 78 साल बाद भी सड़क नहीं बनना खेदजनक है. उनका नैतिक समर्थन ग्रामीणों के साथ है. अगले दो महीने के अंदर सारी सरकारी प्रक्रिया पूरी कर सड़क निर्माण करवाई जाएगी.

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