पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह (Amarinder Singh) बुधवार को मीडिया से मुखातिब हुए. उन्होंने कहा कि वो नई पार्टी बनाएंगे. पार्टी के नाम और चुनाव चिन्ह को लेकर चुनाव आयोग से चर्चा चल रही है. उन्होंने साढ़े नौ साल के कार्यकाल में किए गए विकास कार्यों का पूरा ब्योरा रखा. सिंह ने कहा कि जो 18 प्वाइंट प्रोग्राम की बात कही जा रही है, वो कोई प्रोग्राम है. अमरिंदर ने उन सारे प्रोग्राम और उन पर अपने जवाब के कागज मीडिया को दिखाए. जो 18 प्वाइंट का प्रोग्राम बताया जा रहा है, वो उनके मेनिफेस्टो का हिस्सा थे. उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार के जो मंत्री कह रहे हैं कि साढ़े चार साल में कोई काम नहीं हुआ, वो उन्हीं की कैबिनेट का हिस्सा थे. 92 फीसदी कार्यक्रम उनके कार्यकाल में पूरे हुए. अमरिंदर ने पंजाब में विकास से जुड़े उनके कार्यकाल के कामों की पूरी फेहरिस्त भी पेश की.
कैप्टन अमरिंदर ने कहा कि उनका इरादा था कि एक लाख करोड़ रुपये पंजाब की अर्थव्यवस्था पर खर्च किया जाए. जब उन्होंने सरकार छोड़ी तब तक 96 हजार करोड़ रुपये खर्च किए जा चुके थे. यह दिखाता है कि पंजाब इंडस्ट्री के लिए अनुकूल जगह है. अमरिंदर ने कहा कि पंजाब में सेना और सैनिकों का उन्होंने साढ़े नौ साल में पूरा ख्याल रखा है, लेकिन एक माह पहले गृहमंत्री कह रहे हैं कि वो उनसे कुछ ज्यादा जानते हैं.
अमरिंदर ने कहा कि पंजाब ने 1947 के बाद लंबे समय से बहुत कुछ सहा है. सुरंग और नदियों के बहते पानी के इस्तेमाल के बाद सीमापार से नई साजिशें रची जा रही है. पंजाब की पाकिस्तान से लगती सीमा पर ड्रोन से हथियार, ड्रग्स गिराए जाने की घटनाओं पर उन्होंने चिंता जताई. उन्होंने पंजाब की सीमा के 50 किलोमीटर तक बीएसएफ को अधिकार दिए जाने पर राज्य के अधिकार पर अतिक्रमण के आरोपों को पूरी तरह गलत बताया. उन्होंने कहा कि राज्यों के अधिकारों का कोई अतिक्रमण नहीं हो रहा है. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान की ओर से आने वाले ड्रोन्स का दायरा लगातार बढ़ रहा है. लिहाजा हमलों के बजाय इन हालातों को लेकर राज्यों को केंद्र से सहयोग करना चाहिए. पंजाब पुलिस पूरी तरह पेशेवर है, लेकिन वो कुछ चीजों के लिए ट्रेंड नहीं हैं. उन्हें सीआरपीएफ और बीएसएफ से कुछ सहयोग की जरूरत है. पंजाब में अमन-चैन रखना जरूरी है.