वकील अजय श्रीवास्तव ने क्यों खरीदी दाऊद इब्राहिम की नीलाम संपत्ति? बताई ये बड़ी वजह

प्लॉट के खरीददार वकील अजय श्रीवास्तव ने कहा कि 2001 में मैने अखबार में पढ़ा था कि आयकर विभाग द्वारा दाऊद की जमीनों की नीलामी हो रही है. लेकिन लोग बोली के लिए आगे नहीं आ रही थे, मुझे ये समझ आया कि लोग डर रहे है. मुझे लगा कि मुझे एक आतंकवादी के खिलाफ सामने आना चाहिए और मेरे आने के बाद और लोग भी सामने आएंगे और वो डर खत्म होगा. 

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दाऊद इब्राहिम के स्वामित्व वाली प्रॉपर्टी 5 जनवरी को नीलाम हुईं

मुंबई: आतंकवादी दाऊद इब्राहिम के स्वामित्व वाली प्रॉपर्टी 5 जनवरी को नीलाम हुईं. हालांकि, दो भूखंडों के लिए कोई बोली नहीं लगी और एक, जिसका रिजर्व प्राइस सिर्फ ₹15,000 था, उसे ₹2 करोड़ की बोली में खरीदा गया. ये प्लॉट वकील अजय श्रीवास्तव ने खरीदा, जिन्होंने पहले अंडरवर्ल्ड डॉन की तीन संपत्तियां खरीदी थीं, जिसमें उसी गांव में उसका बचपन का घर भी शामिल था.

प्लॉट के खरीददार वकील अजय श्रीवास्तव ने कहा कि 2001 में मैने अखबार में पढ़ा था कि आयकर विभाग द्वारा दाऊद की जमीनों की नीलामी हो रही है. लेकिन लोग बोली के लिए आगे नहीं आ रही थे, मुझे ये समझ आया कि लोग डर रहे है. मुझे लगा कि मुझे एक आतंकवादी के खिलाफ सामने आना चाहिए और मेरे आने के बाद और लोग भी सामने आएंगे और वो डर खत्म होगा. 

2001 में मैने जब प्रोपर्टी ली थी तब से ही मुझे धमकी मिल रही थी जिसके बाद मुझे 11 साल तक Z+ सुरक्षा मिली थी. 3-4 साल पहले दाऊद ने अपने वकील के जरिए मुझे कॉन्टैक्ट किया और कहा कि इस प्रॉपर्टी को आप मुझे ही बेच दो और बताइए कि कितना पैसा आप चाहते है, तो मैंने मना कर दिया क्योंकि मेरा उद्देश्य पैसा कमाना नहीं है. 

प्लॉट के खरीददार वकील अजय श्रीवास्तव ने कहा कि साल 2020 में मैने दाऊद का पुश्तैनी बंगला लिया, इसे लेने का मेरा उद्देश्य ये था की जिस तरीके से मदरसे काम करते है, वैसे ही मैं एक हिंदू पाठशाला बनाऊं और सनातन धर्म पाठशाला ट्रस्ट की मैने स्थापना की है, जहां बच्चों को पढ़ाया जाएगा. 

वकील अजय श्रीवास्तव ने कहा कि जो मैने जमीन खरीदी है ये दाऊद के बंगले से नजदीक है. वहां पर मैं बच्चों के लिए हॉस्टल बनाना चाहता हूं. आसपास की सब जगह मैं खरीद चुका हूं, ये थोड़ी सी जमीन रह गई थी तो इसलिए मुझे इसकी ऐसी बोली लगानी थी जो और कोई ना लगाए नही तो मेरी बाकी की खरीदी हुई जगह बेकार हो जाती. 

वकील अजय श्रीवास्तव ने कहा कि यह जो बंगला मैने 2020 में लिया इसमें रजिस्ट्रेशन में देरी हुई क्योंकि डिपार्टमेंट की गलती से हाउस नंबर गलत आ गया, तो इसे ठीक करने में 2 साल लग गए. इसके अलावा मैने वहां पर एक आम का बगीचा भी लिया था उसमे उनकी शर्त थी कि आपको किसान होना होगा बगीचे को खरीदने के लिए तो मैं किसान बना, ये सब मैंने किया अपने मकसद के लिए कि मैं वहां सनातन धर्म पाठशाला ट्रस्ट के तहत बच्चों को पढ़ा सकू. 


वकील अजय श्रीवास्तव ने कहा, "मैं इस काम को देश प्रेमी काम मानता हूं कि ऐसे आतंकवादी का डर खत्म हो और मैं इसमें लगभग सफल रहा क्योंकि अब और भी लोग दाऊद की प्रॉपर्टी खरीदने के लिए आगे आ रहे है. मुझे दाऊद को हराना है तो जहां वो होगा वही मैं रहूंगा."

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