कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने इजरायली सॉफ्टवेयर पेगासस के जरिये जासूसी और विपक्षी नेताओं, मीडियाकर्मियों और अन्य बड़ी हस्तियों के फोन की हैकिंग को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा है. राहुल गांधी ने कहा है कि हम जानते हैं कि वो क्या पढ़ रहे हैं. खबरों के मुताबिक, भारत में 300 से ज्यादा लोगों को इस फोन हैकिंग के जरिये निशाना बनाया गया है. पेरिस स्थित संगठन फॉरबिडेन स्टोरीज (Forbidden Stories) और एमनेस्टी इंटरनेशनल (Amnesty International ) समेत तमाम नामचीन संगठनों ने मिलकर यह पड़ताल की है, जिसमें भारतीयों के नाम भी निकलकर सामने आए हैं. एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी समेत कई विपक्षी नेताओं ने इसको लेकर सरकार से सवाल पूछे हैं.
"राहुल गांधी ने ट्वीट कर कहा, हम जानते हैं कि वो क्या पढ़ रहे हैं-आपके फोन पर सब कुछ !" राहुल ने आपने तीन दिन पुराने एक ट्वीट को भी इसमें जोड़ा है, जिसमें उन्होंने पूछा था कि हैरत में हूं कि तुम लोग क्या पढ़ रहे हैं? भारत से द वायर (The Wire) भी इस पड़ताल में शामिल रहा है, जिसमें 300 से ज्यादा भारतीयों के मोबाइल फोन नंबरों की प्रमाणित सूची मिली है.
इसमें तमाम मंत्रियों, विपक्षी नेताओं और हिन्दुस्तान टाइम्स, इंडियन एक्सप्रेस समेत तमाम बड़े मीडिया संगठनों के पत्रकारों के नाम भी शामिल हैं. यह फोन हैकिंग कथित तौर पर इजरायली स्पाईवेयर पेगासस ( Israeli spyware Pegasus) के जरिये की गई. यह स्पाईवेयर तैयार करने वाली इजरायली कंपनी NSO का कहना है कि वो जांची पऱखी सरकारों को ही यह सॉफ्टवेयर देती है.
हालांकि सरकार ने कहा है कि अधिकृत तौर पर किसी भी तरह का कोई इंटरसेप्शन नहीं किया गया है. द वायर में प्रकाशित रिपोर्ट में कहा गया है कि निशाना बनाए गए लोगों में से कुछ के फोन की फोरेंसिक जांच में सेंध लगाए जाने की पुष्टि हुई है. यह पेगासस स्पाईवेयर के जरिये फोन हैकिंग का साफ संकेत है.
सरकार ने अपनी सफाई में ऐसी किसी भी कथित हैकिंग में शामिल होने से इनकार किया है. सरकार की ओर से कहा गया, विशिष्ट व्यक्तियों की निगरानी (spying scandal )के सरकार पर लगे आरोप बेबुनियाद हैं और इनमें कुछ भी सच्चाई नहीं है.