राज्यसभा की सभी ग्यारह सीटों पर निर्विरोध उम्मीदवार चुन लिये गए हैं. पश्चिम बंगाल की छह, गुजरात की तीन और गोवा की एक सीट पर मतदान की नौबत अब नहीं है. पश्चिम बंगाल की एक राज्य सभा सीट पर उपचुनाव में भी मतदान नहीं होगा. विदेश मंत्री एस जयशंकर, टीएमसी नेता डेरेक ओ ब्रायन समेत सभी उम्मीदवारों की जीत गए हैं. राज्यसभा के लिए चौबीस जुलाई को मतदान होना था.
11 सीटों में से टीएमसी के छह और बीजेपी के पांच उम्मीदवार जीते हैं. इसके साथ ही राज्यसभा में बीजेपी की एक सीट बढ़ गई है. अब बीजेपी की राज्यसभा में 93 सीटें हैं.
पश्चिम बंगाल के कूचबिहार के अनंत महाराज ने बीजेपी उम्मीदवार के रूप निर्विरोध जीत दर्ज की है. टीएमसी के डेरेक ओ ब्रायन, सुखेंदु शेखर रॉय और डोला सेन ने फिर से टीएमसी से उच्च सदन में अपनी सीट हासिल की है. इसके अलावा अन्य उम्मीदवार साकेत गोखेल, समीरुल इस्लाम, प्रकाश चिक बड़ाईक टीएमसी की ओर से राज्यसभा जा रहे हैं.
अब राज्यसभा में कांग्रेस की एक सीट कम हो गई है. वहीं, बीजेपी की एक सीट बढ़ गई है. बीजेपी और सहयोगी दलों की सीटें मिलाकर 105 रहेंगी. बीजेपी को पांच मनोनीत और दो निर्दलीय सांसदों का समर्थन मिलना भी तय है. इस तरह सरकार के पक्ष में 112 सांसद हैं, जो बहुमत के आंकड़े से 11 दूर है. सरकार को बहुजन समाज पार्टी, जेडीएस और टीडीपी के एक-एक सांसदों से भी समर्थन की उम्मीद है. वहीं, दिल्ली के अध्यादेश के विरोध में 105 पार्टियां हैं. ऐसे में सरकार को बीजेडी और वायएसआरसीपी के मदद की जरूरत होगी. इन दोनों पार्टियों के 9-9 सांसद हैं. बीजेडी ने कहा है कि वह बिल सदन में चर्चा और मतदान के लिए आने पर सदन में ही फैसला करेगी. वायएसआरसीपी ने भी अभी तक अपने पत्ते नहीं खोले हैं.
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