'गनर देसाई मोहन ने इंसास राइफल चोरी करके 4 साथियों को मारा' : बठिंडा मामले में सेना का बयान

बठिंडा मिलिट्री बेस फायरिंग (Bathinda Military Base Firing) केस में सेना का बड़ा बयान सामने आया है. सेना ने अपने बयान में कहा कि गनर देसाई मोहन ने निजी कारणों के चलते अपने चार साथियों की गोली मारकर हत्या (Murder) कर दी.

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बंठिडा में गनर देसाई मोहन ने राइफल चुराकर सोते हुए चार जवानों पर की फायरिंग. (फाइल फोटो)

बठिंडा:

बठिंडा मिलिट्री बेस फायरिंग (Bathinda Military Base Firing) केस में सेना का बड़ा बयान सामने आया है. सेना ने अपने बयान में कहा कि गनर देसाई मोहन ने निजी कारणों के चलते अपने चार साथियों की गोली मारकर हत्या (Murder) कर दी. गनर ने पहले राइफल चुराई इसके बाद इंसास रायफल (insas rifle) से सोते वक़्त चार जवानों की हत्या कर दी. आरोपी से पूछताछ में यह खुलासा हुआ है. सेना ने बताया कि 9 अप्रैल को आरोपी ने हथियार और कारतूस चुराए थे. 12 अप्रैल को सुबह 4.30 बजे जब संतरी ड्यूटी पर था उस वक्त उसने चारों की हत्या तब कर दी. पूछताछ में उसने बताया कि जिन जवानों पर उसने गोलियां चलाईं, वह उसे जलील करते थे.

क्या था पूरा मामला ?
पंजाब के बठिंडा मिलिटरी स्टेशन में 12 अप्रैल को फायरिंग हुई थी. इस घटना में चार जवानों की मौत हो गई थी. घटना सुबह 4 बजकर 35 मिनट की बताई गई. इसका बाद सेना ने इलाके में तलाशी अभियान शुरू किया था. वहीं बठिंडा के एसएसपी (SSP) जीएस खुराना ने एनडीटीवी से कहा था कि यह कोई आतंकी हमला नहीं है. अंदर का ही कोई मामला है. हमारी टीम बाहर इंतजार कर रही है. अभी आर्मी ने हमें अंदर जाने की परमिशन नहीं दी है.

आज यानी 17 अप्रैल को बठिंडा सैन्य अड्डे पर गोलीबारी मामले में एक जवान को गिरफ्तार किया गया. पंजाब पुलिस के मुताबिक जिसे गिरफ्तार किया है, उसे आर्मी का गनर बताया जा रहा है. आरोपी ने अपना जुर्म कबूल लिया है. पंजाब पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने सोमवार को यह जानकारी दी. सैन्य अड्डे पर फायरिंग आपसी झगड़े में हुई. पिछले दिनों बठिंडा में सैन्य स्टेशन पर हुई गोलीबारी में चार सैनिकों की मौत हो गई थी. 

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इस मामले में पुलिस ने बताया था कि बठिंडा छावनी पुलिस थाने में भारतीय दंड संहिता की धारा-302 (हत्या) और सशस्त्र अधिनियम के तहत दो अज्ञात लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई. जानकारी के मुताबिक सेनाध्यक्ष जनरल मनोज पांडे ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को पूरे मामले की जानकारी दी. ऐसा संदेह था कि इस घटना में गुम हुई एक इंसास राइफल और उसकी 28 गोलियों का इस्तेमाल किया गया होगा.

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