"डर ही सही..." : कर्पूरी ठाकुर को 'भारत रत्न' मिलने पर RJD चीफ लालू प्रसाद यादव

भारत के राष्‍ट्रपति ने भारत रत्‍न (Bharat Ratna) देने का ऐलान किया गया है. कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न देने के फैसले पर अब आरजेडी प्रमुख लालू यादव की प्रतिक्रिया भी सामने आ गई है. उन्होंने इसे RJD के लंबे संघर्षों की उपलब्धि बताया है.

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नई दिल्ली: बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और दिग्गज समाजवादी नेता कर्पूरी ठाकुर (Karpoori Thakur) को भारत रत्न (Bharat Ratna) देने का एलान किया गया है. भारत के राष्‍ट्रपति ने भारत रत्‍न (Bharat Ratna) देने का ऐलान किया गया है. कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न देने के फैसले पर अब आरजेडी प्रमुख लालू यादव की प्रतिक्रिया भी सामने आ गई है. उन्होंने इसे RJD के लंबे संघर्षों की उपलब्धि बताया है.

आरजेडी प्रमुख लालू यादव ने सोशल मीडिया मंच एक्स पर एक पोस्ट में कहा, "मेरे राजनीतिक और वैचारिक गुरु स्व॰ कर्पूरी ठाकुर जी को भारत रत्न अब से बहुत पहले मिलना चाहिए था. हमने सदन से लेकर सड़क तक ये आवाज़ उठाई. लेकिन केंद्र सरकार तब जागी जब सामाजिक सरोकार की मौजूदा बिहार सरकार ने जातिगत जनगणना करवाई और आरक्षण का दायरा बहुजन हितार्थ बढ़ाया. डर ही सही राजनीति को दलित बहुजन सरोकार पर आना ही होगा."

वहीं, आरजेडी नेता और बिहार के डिप्टी CM तेजस्वी यादव ने एक वीडियो एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा, "बिहार विधानसभा के शताब्दी वर्ष समारोह में हमने आदरणीय प्रधानमंत्री जी के समक्ष जननायक कर्पूरी ठाकुर जी को भारत रत्न देकर देश के किसी भी प्रधानमंत्री के बिहार विधानसभा में प्रथम आगमन को और अधिक यादगार बनाने की माँग रखी थी."

लालू, नीतीश जैसे दिग्गजों के मार्गदर्शक रहे भारत रत्न कर्पूरी ठाकुर को सामाजिक न्याय के लिए अथक संघर्ष करने वाले और भारतीय राजनीति में एक प्रेरणादायक शख्सियत के रूप में याद किया जाता है. अत्यंत पिछड़े वर्ग 'नाई' समुदाय से आने वाले ठाकुर का जन्म समस्तीपुर जिले के एक गरीब परिवार में हुआ था, लेकिन उन्होंने राजनीति के क्षेत्र में ऊंचा मुकाम हासिल किया जिससे उन्हें 'जननायक' की उपाधि मिली.  ठाकुर की जयंती से एक दिन पहले देश के सर्वोच्च सम्मान भारत रत्न से सम्मानित करने की केंद्र सरकार की आधिकारिक घोषणा में समाजवादी नेता के 'समाज के वंचित वर्गों के उत्थान के लिए आजीवन समर्पण और सामाजिक न्याय के लिए उनके अथक संघर्ष” की सराहना की गई.

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वर्ष 1924 में जन्मे ठाकुर 1970 के दशक में बिहार के मुख्यमंत्री बने और उनके कार्यकाल को पिछड़े वर्गों के लिए आरक्षण लागू करने के अलावा राज्य में पहली बार शराबबंदी लागू करने के लिए याद किया जाता है. वर्ष 1988 में उनका निधन हो गया.

वर्तमान युग के नेताओं में शामिल जनता दल यूनाइटेड (जदयू) अध्यक्ष एवं बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और राष्ट्रीय जनता दल (राजद) प्रमुख लालू प्रसाद ठाकुर को अपना मार्गदर्शक मानते हैं और दोनों दल 'जननायक' कर्पूरी ठाकुर की जयंती के अवसर पर बुधवार को समारोह आयोजित करने जा रहे हैं.

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