- लोकसभा में ऑपरेशन सिंदूर पर दो दिन की बहस के दौरान कांग्रेस के कई नेताओं को बोलने का मौका मिला.
- कांग्रेस नेता शशि थरूर को वक्ताओं की सूची में शामिल नहीं किया गया और उन्हें बोलने का अवसर नहीं मिला.
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिना नाम लिए कांग्रेस पर हमला करते हुए कुछ नेताओं को बोलने से रोका जाना बताया.
लोकसभा में ऑपरेशन सिंदूर पर दो दिन तक चली बहस के दौरान कांग्रेस के कई नेताओं ने अपनी बात रखी, लेकिन कांग्रेस नेता शशि थरूर को बोलने का मौका नहीं मिला. पार्टी ने उन्हें वक्ताओं की सूची में शामिल ही नहीं किया. इसी मुद्दे पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को बिना नाम लिए कांग्रेस पर तीखा हमला बोला. संसद में चर्चा के दौरान पीएम मोदी ने शशि थरूर का बिना नाम लिए कहा कि कांग्रेस के कुछ नेताओं को बोलने तक नहीं दिया गया. जब प्रधानमंत्री ने विदेशों में गए भारतीय प्रतिनिधिमंडल की भूमिका का जिक्र किया, तो शशि थरूर मुस्कुराते नजर आए.
'देशहित में हमारे मन अवश्य मिलने चाहिए...'
लोकसभा में ऑपरेशन सिंदूर पर जवाब देते हुए PM ने कहा, "सत्र की शुरुआत में मैंने एक आग्रह किया था कि दलहित में मतभेद हो सकते हैं. लेकिन देशहित में हमारे मन अवश्य मिलने चाहिए. पहलगाम की विभीषिका ने देश को गहरे घाव दिए और झकझोर कर रख दिया. इसके जवाब में हमने ऑपरेशन सिंदूर लॉन्च किया."
'कुछ नेताओं को सदन में बोलने नहीं दिया गया.'
प्रधानमंत्री ने आगे कहा, "हमारी सेनाओं के पराक्रम और आत्मनिर्भर भारत अभियान ने देश में एक 'सिंदूर स्पिरिट' पैदा की. यह भावना हमने तब भी देखी जब हमारे प्रतिनिधिमंडल विदेशों में भारत का पक्ष मजबूती से रख रहे थे. उन्होंने डंके की चोट पर भारत की बात रखी. लेकिन कांग्रेस के कुछ वरिष्ठ नेताओं को इससे भी पीड़ा हो रही है. यही कारण है कि कुछ नेताओं को सदन में बोलने नहीं दिया गया."
उन्होंने कहा कि कांग्रेस का भरोसा पाकिस्तान के रिमोट कंट्रोल से बनता है और बदलता भी है. कांग्रेस अपने नए सदस्य से कहलवाती है कि 'ऑपरेशन सिंदूर' तमाशा था. जिस भीषण आतंकी घटना में 26 लोगों को मौत के घाट उतार दिया गया, उस पर ये तेजाब छिड़कने वाला पाप है.