पेगासस जासूसी कांड : विपक्षी दल संसद में 10 बजे बैठक कर अपनी रणनीति तय करेंगे

Pegasus Spy Case: तृणमूल कांग्रेस के नेता सुखेंदु शेखर रॉय ने राज्यसभा में कामकाज स्थगित कर नियम 267 के तहत तुरंत पेगासस फोन हैकिंग के मुद्दे पर चर्चा की मांग की है.  

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Pegasus scandal News: आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव राज्यसभा में आज इस मुद्दे पर एक बयान देंगे
नई दिल्ली:

संसद के मानसून सत्र में विपक्षी दल पेगासस जासूसी कांड के मुद्दे पर संयुक्त रणनीति तैयार कर सरकार को घेरने में जुट गए हैं. सूत्रों का कहना है कि विपक्षी दलों ने 10 बजे संसद में बैठक कर साझा रणनीति बनाने का संकेत दिया है. वहीं तृणमूल कांग्रेस के नेता सुखेंदु शेखर रॉय ने राज्यसभा में कामकाज स्थगित कर नियम 267 के तहत तुरंत पेगासस फोन हैकिंग के मुद्दे पर चर्चा की मांग की है. सरकार भी अपने बचाव की तैयारी करने में जुटी है. आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव राज्यसभा में आज इस मुद्दे पर एक बयान देंगे. ऐसे में मानसून सत्र के दूसरे दिन भी संसद में हंगामे के आसार दिख रहे हैं. 

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इस बैठक में विपक्ष इजरायली स्पाईवेयर पेगासस के जरिये कथित फोन हैकिंग केस पर चर्चा होगी. इस फोन हैकिंग में पत्रकारों, नेताओं और नौकरशाहों को निशाना बनाए जाने की बात सामने आई है. कथित तौर पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव की भी फोन हैकिंग हुई. हालांकि सरकार ने इसे सिरे से खारिज किया है और इसे देश को बदनाम करने की साजिश करार दिया है. 

माना जा रहा है कि उच्च सदन में मंगलवार दोपहर को कोविड प्रबंधन के मुद्दे पर चर्चा होगा. राज्यसभा के कामकाज की सूची के मुताबिक आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव (IT minister Ashwini Vaishnaw) भारत में कुछ लोगों का कथित तौर पर फोन डेटा हैक करने के मामले में दोपहर 2 बजे सरकार की ओर से एक बयान जारी करेंगे.

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आईटी मंत्री ने लोकसभा में सोमवार को एक बयान जारी किया था. वैष्णव ने इसे बिना किसी तथ्य के सनसनीखेज स्टोरी करार दिया था. उन्होंने कहा था कि पोर्टल की रिपोर्ट में खुद कहा गया है कि सिर्फ फोन नंबर की मौजूदगी मात्र से यह नहीं कहा जा सकता है कि जासूसी (snooping) हुई है. खबरों के मुताबिक, अश्विनी वैष्णव का नाम भी उस फेहरिस्त में बताया जा रहा है, हालांकि तब वह मंत्री नहीं थे.

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फॉरगॉटेन स्टोरीज समेत 17 मीडिया संगठनों की ओर से सोमवार को लगातार दूसरे दिन इस मामले में खुलासे किए गए, जिससे दुनिया भर में सियासी तूफान उठा. द वायर की रिपोर्ट के मुताबिक, कथित तौर पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी, नए आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव और पूर्व चुनाव आयुक्त अशोक लवासा भी संभावित तौर पर निशाने पर थे. 

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